शशि भूषण दूबे कंचनीय,
लखनऊ (यूपी ): बांदा में एक पुरातत्वकालीन कुएं में एक बेशकीमती मूर्ति मिलने की सूचना मिलने के बाद ग्रामीणों में अफरा-तफरी का माहौल बन गया. कुछ मजदूर कुएं की सफाई कर रहे थे, उसी दौरान चमचमाती हुई सुंदर मूर्ति कुएं मे मिली. इसके बाद काम कर रहे आठ मजदूरों में आपसी वार्ता हुई और मजदूरों ने मूर्ति को ठिकाने लगाने की सोच ली. इसके बाद आपसी बंटवारे को लेकर कहासुनी हुई जिसके बाद मामला प्रकाश में आया . इस मामले की जानकारी पुलिस को भी लगी जिसके बाद पुलिस मौके पर पहंची. हालांकि इस मामले में पुलिस की भूमिका महज खानापूर्ति की रही. कुएं मे काम कर रहे मजदूरों का दावा है कि अभी भी कुएं मे मूर्ति है.
मवई गांव में है यह कुआं
यह मामला कोतवाली शहर के मवई गांव से सामने आया है, जहां पर हजारों साल पुराने कुएं की सफाई का काम चल रहा था. सफाई के काम में गांव के ही आठ मजदूर लगे थे. जब कुएं का पानी खत्म हुआ तो मजदूर कीचड़ साफ करने लगे. उसी दौरान कुएं के अंदर एक चमचमाती हुई मूर्ति दिखी. मजदूरों ने मूर्ति को अपने हाथों में लेकर देखा और आपस में ही मूर्ति के बंटवारे की बात भी कर ली. कुछ दिनों तक वे इस मामले में चुप्पी साधे रहे. इसके बाद बाद उन मजदूरों में आपसी विवाद हो गया और बंटवारे को लेकर वे आपस में ही भिड़ गए. जव मामला तूल पकड़ने लगा तो ग्रामीणों ने इसकी जानकारी पुलिस को दी, इसके बाद पुलिस ने कुछ मजदूरों को पूछताछ के लिए कोतवाली में बुलाया, लेकिन खबर लिखे जाने तक पूरे मामले में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है. उधर कुएं मे काम कर रहे मजदूरों का दावा है कि अभी भी कुएं मे मूर्ति सुरक्षित है.