सुप्रीम कोर्ट ने 42 हजार से ज्यादा घर खरीदारों के हक में फैसला सुनाते हुए मंगलवार को आम्रपाली का रेरा रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिया है। इसके साथ ही सर्वोच्च न्यायालय ने खरीदारों को बड़ी राहत देते हुए एनबीसीसी को यह निर्देश दिया है कि वह आम्रपाली की अटकी परियोजनाओं को पूरा करे। अदालत ने निवेशकों को यह निर्देश भी दिया है कि अब वह पैसे एनबीसीसी को दें। इस मसले पर जस्टिस अरुण मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ ने सुनवाई करते हुए बड़ा आदेश दिया है। कोर्ट ने अपने आदेश में प्रवर्तन निदेशालय को आम्रपाली द्वारा फंड में की गई गड़बड़ी की जांच करने का भी निर्देश दिया है। कोर्ट ने कहा कि आम्रपाली के चीफ मैनेजिंग डायरेक्टर और अन्य निदेशकों के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग केस दर्ज हो।
नोएडा और ग्रेटर नोएडा प्राधिकरणों के अधूरे प्रोजेक्ट पूरा करने में संसाधनों की कमी की बात कहकर हाथ खड़े करने के बाद शीर्ष अदालत ने इस मामले में 10 मई को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। दोनों प्राधिकरणों ने घर खरीदारों के हितों को देखते हुए और सियासी दबाव के चलते आम्रपाली पर लीज एग्रीमेंट रद्द करने जैसी कोई कार्रवाई करने में खुद को लाचार बताया था।