पलंबर के क़त्ल के मामले में 2 गिरफ़्तार, एक अपराधी अभी भी फ़रार
रामगढ़: रामगढ़ जिले के कुज्जू ओपी क्षेत्र में एक माह क़ब्ल हुए प्लंबर मोतीलाल की हत्या की गुत्थी सुलझ गई है। बड़की टुंडी टोला, लोहसिंगना निवासी मोतीलाल महतो को महज एक धमकी देना ही भारी पड़ गया।
सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस मामले की पुष्टि करते हुए एसपी प्रभात कुमार ने बताया कि मोतीलाल का विवाद उसके ही गांव का निवासी विनोद महतो के साथ चल रहा था। दोनों के दरमियान कई बार मारपीट भी हो चुकी थी। इसी मारपीट के दरमियान मोतीलाल ने विनोद को जान से मारने की धमकी दी थी।
इस धमकी को विनोद सच मान बैठा और उसने मोतीलाल के क़त्ल की साजिश रच डाली। इस मामले में क़त्ल की साजिश रचने वाले विनोद और गोली मारने वाले जयप्रकाश साहू उर्फ चरका को गिरफ्तार कर लिया गया है। एक अन्य फरार अपराधी विरेंद्र कुमार महतो की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है।
विनोद ने अपने चचेरे साढू वीरेंद्र महतो के साथ मिलकर इस क़त्ल की साजिश रची थी। एसपी प्रभात कुमार ने बताया कि विनोद को लगा था कि दोनों के बीच का तनाव खूनी रंग ले सकता है। इसी वजह से उसने पहले अपने चचेरे साढू ओरमांझी थाना अंतर्गत चेतन बारी गांव का रहने वाला विरेंद्र महतो को बुलाया और मोतीलाल को जान से मारने की बात कही।
वीरेंद्र को इस कत्ल के लिए डेढ़ लाख रुपए की सुपारी भी दी गई। वीरेंद्र ने जयप्रकाश साहू के साथ मिलकर मारी मोतीलाल को गोली। विरेंद्र ने मोतीलाल को मारने के लिए ओरमांझी थाना क्षेत्र के पांचा गांव निवासी जयप्रकाश साहू उर्फ़ चरका को हायर किया था। वीरेंद्र ने 19 जून को मोती लाल महतो को फोन कर एक नल बनवाने के लिए बुलवाया था।
मोतीलाल अपने एक साथी के साथ बाइक से पहुंचा और उसने विरेंद्र को फोन किया कि वह पहुंच गया है। इसके बाद जयप्रकाश और वीरेन्द्र दोनों बाइक से निकले और मोतीलाल महतो को गोली मारकर क़त्ल को अंजाम दे दिया।
एसपी ने बताया की तफ्तीश के दौरान सबसे पहले विनोद को पुलिस ने पकड़ा और उसने पूरी कहानी बता दी। उसकी निशानदेही पर जयप्रकाश को भी गिरफ्तार कर लिया गया है। हालांकि हत्या में इस्तेमाल किए गए हथियार और वीरेंद्र की बाइक बरामद नहीं हो सकी है। एसपी ने बताया कि वीरेंद्र महतो अभी भी फरार है और वह बहुत जल्द पुलिस के शिकंजे में होगा।