शिकन्दर शर्मा,
दुमका: दुमका शिकारीपाडा खनन पदाधिकारी दिलीप तांती जामताडा एवं देवघर के लिए कोयला का परिवहन चालान बनाकर रूट बदलकर कोयला को पश्चिम बंगाल भेजा जा रहा था. बुधवार को दुमका रामपुरहाट राष्ट्रीय राजमार्ग के बरमसिया गांव से बुधवार शाम कोयला परिवहन करते पकडे गये 33 ट्रक के चालक एवं उसके मालिक के विरूद्ध जिला खनन पदाधिकारी दिलीप कुमार तांती के वयान पर शिकारीपाडा थाने मे मामला दर्ज किया गया है.
जिला प्रशासन के इस कारवाई से अवैध कोयला माफिया में हडकंप मच गया है. वही पालाजोरी एवं मुफसिल थाना की पुलिस की कार्य शैली पर सवाल उठ खडे हुए है. एक बड़ा सवाल यह है कि चितरा से दुमका के रास्ते बंगाल सीमा पर वाहन के पहुंचने के पहले देवघर का पालाजोरी थाना और दुमका का मुफसिल थाना क्षेत्र से गुजरा, लेकिन दोनो थाना क्षेत्र से गुजरने के बाद शिकारीपाडा थाना क्षेत्र में वाहन को पकडा गया. जिसके बाद दोनो थाना की पुलिस के कार्य शैली पर प्रश्न उठ रहा है. जिला खनन पदाधिकारी के अनुसार उच्च अधिकारियो के निर्देश पर एसडीओपी नूर मुस्तफा अंसारी एवं शिकारीपाड़ा थाना प्रभारी संजय सुमन पुलिस बल के साथ अवैध कोयला परिवहन करते ट्रको का जांच किया तो पाया कि ट्रक चितरा कोलिवरी से कोयला लेकर जा रहा था.
कुछ ट्रको का परिवहन चालान जामताडा एवं कुछ का देवघर का था. लेकिन ट्रक कोयला लेकर सीधे पश्चिम बंगाल जा रहा था जो नियम विरुद्ध है. खनिज परिवहन नियम तोडने के विरूद्ध सभी 33 ट्रको के चालकों एवं उसके मालिक के विरूद्ध मामला दर्ज कराया गया है. सभी ट्रक निर्धारित मार्ग छोड़कर देवघर के पालाजोरी एंव दुमका जिला के जामा एवं मुफसिल थाना होकर शिकारीपाड़ा थाना क्षेत्र में कैसे पहुंच गया यह भी जांच का विषय है.