सुरुर रज़ा,
रांची: भाई -बहन के प्यार का त्यौहार रक्षाबंधन 3 अगस्त को मनाया जाएगा. इस बार रक्षाबंधन पर कोरोना का साया है. ऐसे में भाई की कलाई पर बांधी जाने वाली राखी का बाजार मंदा पड़ गया है.
भारत में कुछ जगहों पर अभी भी लॉकडाउन लगा है, जिसकी वजह से राखी का बाजार काफी मंदा पड़ गया है. वर्तमान स्थिति में राखी का निर्यात नहीं हो पा रहा है. बाजार बंद होने की वजह से स्टॉक पर असर पड़ा है. राखी विक्रेता ने यह कहा कि कोरोना वायरस के डर से लोग घरों से बाहर नहीं निकल रहे है.
क्या कहते है राखी विक्रेता-
राम चक्रवर्ती ने कहा कि हमारे पास राखी मौजूद है, पर खरीदार नहीं मिल रहे हैं. हर साल की भांति इस साल काफी नुकसान हुआ है. बाजार अभी मंदा है, जिसकी वजह से विक्रेता उदास हैं.
पिछले वर्ष प्रतिदिन हम 300 राखी बेचा करते थे, परंतु आज स्थिति बहुत ही खराब है. इस साल लोग ऑनलाइन खरीदारी करते हैं. ज्यादातर लोग घर बैठे ही राखियों की ऑनलाइन बुकिंग कर रहे हैं, जिसका खामियाजा छोटे दुकानदारों को भुगतना पड़ रहा है. इस साल हमलोगों ने चीनी राखी का सख्त बहिष्कार किया है.
रिशु ने बताया कि पिछले साल इन दिनों राखी खरीदने वालों की भीड़ रहती थी. शहर से लेकर गली मोहल्ले और गांव तक में राखी का बाजार सजता था.
लोग राखी खरीदते थे, परंतु इस साल ग्राहक नहीं आ रहे हैं. प्रतिदिन 10 या 20 राखी की ही बिक्री हो पा रही है. कोरोना ने हम जैसे व्यावसायियों की कमर तोड़ दी है.