पेरिस.फ्रांसीसी सरकार ने 1791 के बाद पहली बार सगे-संबंधियों के बीच यौन संबंध पर प्रतिबंध लगाने की योजना की घोषणा की है. जानकारी के मुताबिक फिलहाल फ्रांस में अनाचार वैध है, बशर्ते कि उसमें 18 वर्ष से कम उम्र का कोई शामिल न हो. फ्रांस बाल संरक्षण राज्य मंत्री एड्रियन टैक्वेट ने कहा कि सरकार का इरादा ऐसे रिश्तों को आपराधिक बनाना है, भले ही दोनों की उम्र 18 साल के अधिक ही क्यों न हो. अनाचार एक ही परिवार के सदस्यों (जैसे भाई और बहन) के बीच गैर-कानूनी यौन संबंध को कहते हैं. इसे कौटुंबिक व्यभिचार भी कहा जाता है.
मंत्री बोले- आप अपने खून से सेक्स नहीं कर सकते
टैक्वेट ने afp के साथ एक इंटरव्यू में कहा, “उम्र चाहे जो भी हो, आप अपने पिता, अपने बेटे या अपनी बेटी के साथ यौन संबंध नहीं बना सकते हैं. यह उम्र का सवाल नहीं है, यह वयस्कों (adults) की सहमति का सवाल भी नहीं है. हम अनाचार के खिलाफ लड़ रहे हैं. इसके संकेत स्पष्ट होने चाहिए.” जानकारी के मुताबिक नए कानून के तहत, चचेरे भाई-बहनों को अभी भी शादी करने की अनुमति होगी, लेकिन इस बात की पुष्टि होनी बाकी है कि यह प्रतिबंध सौतेले परिवारों तक बढ़ाया जाएगा या नहीं.
चाइल्ड प्रोटेक्शन चैरिटी, लेस पैपिलॉन्स के चेयरमैन लॉरेंट बोएट ने मिस्टर टैक्वेट की घोषणा का स्वागत किया है. उन्होंने द टाइम्स को बताया, “अनाचार सामाजिक रूप से प्रतिबंधित है, लेकिन कानूनी रूप से प्रतिबंधित नहीं है जबकि दोनों का एक साथ होना आवश्यक है.” बता दें कि 1791 में, अनाचार, ईशनिंदा और सोडोमी को फ्रांसीसी दंड संहिता से अपराध की श्रेणी से हटा दिया गया था. उनका मानना था कि अगर कोई पीड़ित नहीं है तो वह अपराध नहीं है.
18 साल की उम्र सीमा की भी समीक्षा की जाएगी
उन्होंने कहा कि अनाचार के लिए 18 साल की सीमा की समीक्षा की जाएगी. चचेरे भाइयों को अभी भी बदले हुए नियमों के तहत शादी करने की अनुमति दी जाएगी. उन्होंने इस बारे में कोई स्पष्टीकरण नहीं दिया कि क्या प्रस्तावित कानून का विस्तार सौतेले परिवार (stepfamilies) तक होगा या नहीं.
फ्रांस ने 1791 में किया था कानून में बदलाव
चाइल्ड प्रोटेक्शन चैरिटी लेस पैपिलॉन्स के अध्यक्ष लॉरेंट बोएट ने इस कदम का स्वागत करते हुए कहा कि अनाचार को कानूनी रूप से प्रतिबंधित किया जाना चाहिए, क्योंकि यह पहले से ही सामाजिक रूप से निषिद्ध था. 1791 में, अनाचार, ईशनिंदा और सोडोमी को फ्रांसीसी दंड संहिता से अपराध की श्रेणी से हटा दिया गया था. उनका मानना है कि अगर कोई पीड़ित नहीं है तो वह कोई अपराध नहीं है.
फ्रांस ने बलात्कार रोधी कानून में किया है बदलाव
पिछले साल फ्रांस ने बलात्कार रोधी कानून में बड़ा बदलाव किया था. जिसके बाद से 15 साल के कम उम्र की लड़की के साथ यौन संबंध बनाने को बलात्कार माना जा रहा है. फ्रांस का दावा है कि कानून में इस बदलाव के बाद अब बच्चियों के साथ यौन अत्याचार के मामलों में दंड देना आसान हो जाएगा. फ्रांस में बच्चियों के साथ बढ़ते रेप और यौन दुव्यर्वहार के मामलों के बाद जनता की ओर से दबाव पड़ रहा था और इस वजह से सरकार को यह कदम उठाने के लिए मजबूर होना पड़ा है.
उल्लेखनीय है कि राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रॉन पिछले साल जनवरी में उस समय सुर्खियों में आ गए थे, जब उन्होंने एक किताब के प्रकाशन के बाद अनाचार पर नियमों को कड़ा करने का आह्वान किया था. इसमें एक शीर्ष फ्रांसीसी राजनीतिक टिप्पणीकार पर अपने सौतेले बेटे को गाली देने का आरोप लगाया गया था. ओलिवियर डुहामेल ने स्वीकार किया कि उन्होंने 1980 के दशक में किशोर लड़के के साथ दुर्व्यवहार किया था, लेकिन फ्रांसीसी क़ानून की सीमाओं के कारण उन पर कभी मुकदमा नहीं चलाया गया. बीते साल फ्रांस ने रेप की घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए भी कानून में बड़ा बदलाव किया था. इसके अनुसार 15 साल के कम उम्र की लड़की के साथ यौन संबंध बनाना रेप माना जाएगा.