विधान सभा खजनी से श्रीराम चौहान को भाजपा से टिकट मिला है. श्रीराम चौहान तीन बार विधायक रह चुके हैं. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से अपना सामाजिक जीवन आरंभ करने वाले श्रीराम चौहान तीन बार विधायक रहे हैं. इसके अलावा वे तीन बार बस्ती लोकसभा सीट से सांसद भी रह चुके हैं.
अटल जी की सरकार में खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के राज्यमंत्री रहे श्रीराम चौहान को वरिष्ठता और समर्पण का इनाम मिला है. बस्ती मंडल के तीनों जिलों में समान प्रभाव रखने वाले श्रीराम चौहान को सहजता के कारण आम कार्यकर्ता पूरा सम्मान देते हैं.
खलीलाबाद शहर के बरई टोला निवासी रामनरेश चौहान के पांच पुत्रों में सबसे बड़े श्रीराम चौहान का जन्म 20 सितंबर 1953 को हुआ. उच्च शिक्षा ग्रहण के दौरान ही आरएसएस के सक्रिय स्वयंसेवक बनकर कार्य करने लगे.
वर्ष 1984 में पहली बार खलीलाबाद विधानसभा से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़े लेकिन सफलता नहीं मिली. वर्ष 1989 में पार्टी ने इन्हें हैंसर बाजार विधानसभा क्षेत्र से उम्मीदवार बनाया. इस बार श्रीराम ने कांग्रेस पार्टी की गेंदा देवी को पराजित किया और पहली बार विधान सभा में पहुंचे.
वर्ष 1991 में इसी सीट से दोबारा जीत दर्ज की. परंतु वर्ष 1993 के विधान सभा चुनाव में श्रीराम चौहान को हार का सामना करना पड़ा. वर्ष 1996 में श्रीराम चौहान को बस्ती लोकसभा सीट से सांसद चुना गया. वर्ष 1998 व 1999 में भी बस्ती से सांसद चुने गए.
वर्ष 1999 में अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में श्रीराम चौहान को खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों का राज्य मंत्री बनाया गया. वर्ष 2004 में लोकसभा चुनाव में बस्ती सीट से चुनाव हारने के कारण वर्ष 2009 में पार्टी ने टिकट नहीं दिया. वर्ष 2012 के विधानसभा चुनाव में सिद्धार्थनगर जिले के कपिलवस्तु सीट से चुनाव लड़े और हार गए. अब पार्टी ने विधान सभा खजनी 325 से प्रत्याशी घोषित किया है.