नई दिल्ली: यहां की एक अदालत ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ कथित रूप से ‘खून की दलाली’ बयान के लिए कांग्रेस नेता राहुल गांधी के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग वाली शिकायत पर आदेश स्थगित कर दिया. अतिरिक्त मुख्य महानगर दंडाधिकारी समर विशाल ने मामले पर आदेश के लिए 18 अक्टूबर की तिथि तय की गयी.
अदालत ने इससे पहले इस बाबत वकील जोगिंदर तुली की शिकायत पर फैसला सुरक्षित रख लिया था, उन्होंने 2016 में मोदी के खिलाफ अपमानजनक बयान के लिए राहुल गांधी के खिलाफ पुलिस को एफआईआर दर्ज करने के लिए आदेश देने की मांग की थी. राहुल ने कथित रूप से मोदी को जवानों के खून के पीछे-छिपने और उनके बलिदान की दलाली करने का आरोप लगाया था.
दिल्ली पुलिस ने 15 मई को बयान पर अदालत के समक्ष रिपोर्ट दायर की थी, जिसमें पुलिस ने कहा था कि राहुल ने कथित रूप से प्रधानमंत्री के खिलाफ अपमानजनक बयान दिए हैं, और इसके लिए व्यक्तिगत रूप से एक मुकदमा दायर हो सकता है.
तुली ने अदालत से पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष के खिलाफ देशद्रोह के आरोपों के तहत एफआईआर दर्ज करने के लिए पुलिस को निर्देश देने की मांग की थी. 2016 में एक जनसभा के दौरान, राहुल ने मोदी पर ‘जवानों के खून की आड़ लेने’ का आरोप लगाया था.