सुप्रीम कोर्ट ने लगाई छत्तीसगढ़ सरकार को फटकार. IPS अफसर मुकेश गुप्ता की फोन टैपिंग मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा कि “ऐसा लग रहा है देश में अब लोगों की निजता बची ही नहीं है. रोज कुछ न कुछ होता है.” सुप्रीम कोर्ट ने छत्तीसगढ़ सरकार से पूछा कि अफसर और उसके परिवारवालों के फोन टैप क्यों हो रहे हैं? फिलहाल सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार को अफसर के खिलाफ कोई कठोर कार्रवाई नहीं करने को कहा है.
दरअसल आईपीएस ऑफिसर की तरफ से सुप्रीम कोर्ट में दायर याचिका में छत्तीसगढ़ सरकार पर अपने और परिवार के सदस्यों के फोन टैप कराने का आरोप लगाया है. इस मामले पर पिछली बार की सुनवाई में भी सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार पर सवाल उठाए थे और 4 चार नवंबर तक जवाब मांगा था. अब इस केस की अगली सुनवाई शुक्रवार को होगी.
आपको बता दें कि पिछले बीजेपी सरकार में IPS मुकेश गुप्ता राज्य के भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) के पुलिस महानिदेशक और आर्थिक अपराध शाखा (EOW) के प्रमुख रहे थे. दरअसल IPS ऑफिसर ने साल 2001 में एक महिला के आत्महत्या के मामले में उनकी बेटी और उनके परिवार के सदस्यों का फोन टैप कराने और साथ उनपर नज़र रखने का आरोप राज्य सरकार पर लगाया है. उनका ये भी कहना है कि इस मामले में उनको दो बार क्लीन चिट मिल चुकी है बावजूद इसके कांग्रेस की राज्य सरकार केस को री-ओपन किया है.