जमशेदपुर: बच्चों मुझे जी खोल के खर्च करो, कमाने के लिए मैं अकेला ही काफी हुं. कितने खुशनसीब होते है वो बच्चे जिन्हें ऐसे पिता की छांव मिलती है. पर इन सब से विपरीत कुछ ऐसे बच्चे भी हैं, जिनके पिता महज चंद रूपये के लिए अपने मासूम बच्चो की जिंदगी से खिलवाड़ करते हैं. और अपने बच्चों के हाथों में किताबों की जगह बोरा लेकर रोड के अगल-बगल में फेंके प्लास्टिक की बोतलें और कचरा चुनने के लिए उनका भविष्य अन्धकार में झोंक देते हैं.
ऐसी ही एक तस्वीर महागामा प्रखण्ड क्षेत्र के हनवारा की है. जहां छोटे-छोटे बच्चे बोरा लेकर सड़क के किनारे पड़े प्लास्टिक के बोतल और कचरे को चुन कर चंद पैसे में अपना भविष्य तलाश कर रहे हैं.
बुद्धिजीवी वर्ग के लोगों का कहना है की इन छोटे-छोटे बच्चों के भविष्य के साथ इनके अभिभावक खिलवाड़ कर रहे हैं. आखिर क्या है इन बच्चों की मज़बूरी. जो इनके अभिभावक चंद रुपयों के लालच देकर यह काम करने के लिए कहते हैं.
क्या पता किस बच्चे की किस्मत में क्या लिखा है जो पढ़ लिखकर अपने भविष्य को उज्जवल बना सकते हैं. लोगो का कहना है कि इस ओर पुलिस प्रशासन को भी ध्यान देना चाहिए.
जहां भी छोटे-छोटे बच्चे कोई काम दुकान या और कहीं करते हुए दिखाई देते हैं तो उसे पकड़कर लाए और उनके अभिभावक को कड़ी चेतावनी दें और उन्हें ऐसा करने से रोके और ना मानने पर उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई करें.