रांची: कोरोना वायरस कोविड-19 से उत्पन्न संकट से निपटने को लेकर कांग्रेस कोटे से राज्य सरकार में शामिल चार मंत्रियों की आज रांची में बैठक हुई.
ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के आवास पर हुई बैठक में वित्त तथा खाद्य आपूर्ति मंत्री रामेश्वर उरांव, स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता और कृषि मंत्री बादल पत्रलेख भी उपस्थित थे.
बैठक में कोरोना वायरस से उत्पन्न स्थिति से निपटने के लिए राज्य आपदा प्राधिकरण के तत्काल गठन की आवष्यकता पर बल दिया गया.
इसके अलावा कोविड-19 से निपटने के लिए सभी विधायकों को विधायक निधि में पचास-पचास लाख रुपये की राशि दिये जाने की जरुरत बतायी गयी. इस दौरान विभागों द्वारा किये जा रहे कार्याें की समीक्षा की गयी.
इस दौरान ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम ने बताया कि मनरेगा मजदूरों को फरवरी और मार्च महीने का भुगतान तीन अप्रैल के पहले कर दिया जाएगा.
स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने आईबीएलएस से प्राप्त सुझावों पर अमल किये जाने की आवश्यकता पर बल दिया. जबकि कृषिमंत्री बादल ने कहा कि लाॅकडाउन में सभी को ताजी सब्जियां और दूध मिले, तथा किसानों को किसी तरह का नुकसान उठाना नहीं पड़े, इस दिषा में विभागीय स्तर पर सभी जिलों के उपायुक्त को आवष्यक दिशा-निर्देश दिया गया है.
इस बैठक में उपस्थित प्रदेश कांग्रेस के सदस्यता प्रभारी सह आलोक कुमार दूबे ने बताया कि सभी मंत्रियों ने कोरोना संकट से निपटने के लिए आम जनता से अपील की है कि सोशल डिस्टेंसिंग के साथ-साथ आज के दिन फिजिकल डिस्टेंसिंग अति आवश्यक है.
घरों में भी परिवार के सदस्यों को एक-दूसरे से करीब एक मीटर की दूरी बनायी रखनी चाहिए. उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से झारखंड की जनता ने सरकार, प्रशासन और मेडिकल साइंस के निर्देशों और सुझावों को गंभीरता से लिया है, वह काफी सराहनीय है.
उन्होंने बताया कि सरकार द्वारा चलायी जा रही योजनाओं का लाभ जमीनी स्तर पर पहुंचे, इसके लिए सिर्फ सरकारी अधिकारियों-कर्मचारियों पर ही जिम्मेवारी नहीं छोड़नी चाहिए, बल्कि सारी स्थिति पर खुद भी नजर बनाये रखने की जरुरत है.
इस संबंध में पार्टी के सभी जिलाध्यक्षों से भी विभाग से संबंधित जमीनी हकीकत को लेकर रिपोर्ट मांगी गयी है और संगठन भी पर पंचायत से राज्यस्तर पर नजर बनाये हुए है.