जमशेदपुर: पूरे देश मे चल रही वैश्विक महामारी कोरोना संकट से लड़ने के लिए अब जमशेदपुर इंजीनियरिंग के छात्र आगे आने लगे हैं. जहां झारखंड के जमशेदपुर में NIT के छात्रों ने एक ऐसे तकनीक का इजाद किया है, जिससे अब होम क्वॉरेंटाइंन किए गए कोरोना के संदिग्धों पर आसानी से नजह रखी जा सकेगी. साथ ही इनके लोकेशन को ट्रैक किया जा सकेगा. इतना ही नहीं इस तकनीक से कोरोना संक्रमित मरीज कहां- कहां गया है और किससे- किससे मिला है, इसका भी पता आसानी से लगाया जा सकता है.
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झारखंड के जमशेदपुर NIT के 6 छात्रों ने संस्थान में खाली बैठे समय का सदुपयोग करते हुए इस तकनीक का उदय करते हुए जिला प्रशासन को सौंप दिया है. वैसे जल्द ही यह एप्प गूगल प्ले स्टोर पर उपलब्ध होगा. आपको बता दें इस तकनीक को संस्थान में लॉक डाउन में फंसे मैकेनिकल और कंप्यूटर साइंस के छात्रों ने बनाया है. ये सभी छात्र लॉक डाउन के दौरान संस्थान में रहकर चौथे सेमेस्टर के पढ़ाई कर रहे हैं. इस दौरान छात्र वैभव और संजय कुमार ने बताया कि वैश्विक महामारी से लड़ने के लिए इन्होंने इस तकनीक को इजाद करने का मन बनाया इसको लेकर जिला प्रशासन से अनुमति मांगा.
वहीं जिला प्रशासन से अनुमति मिलते ही संस्थान के 6 छात्रों ने एक हफ्ते के भीतर इस तकनीक का इजाद कर जिला प्रशासन को सौंप दिया. जिला प्रशासन की ओर से इसे सुरक्षा जमशेदपुर नाम रखा गया है जिससे छात्रों में काफी खुशी देखने को मिला. वहीं संस्थान ने ऐसी विषम परिस्थिति में छात्रों द्वारा तैयार किए गए एप्प की सराहना की है. साथ ही छात्रों द्वारा दावा किया जा रहा है, कि जिला प्रशासन द्वारा एक और टास्क दिया गया है. जिसपर काम किया जा रहा है. जिसे जल्द पूरा कर लिया छात्रों ने दावा किया है. छात्रों ने बताया कि जिला प्रशासन की ओर से उन्हें एक ऐसे एप्प का निर्माण करने की जिम्मेवारी दी गई है जिससे जरूरतमंदों की सूचना प्रशासन और एनजीओ तक पहुंच सके. फिलहाल छात्र इस दिशा में काम कर रहे हैं.
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आइए अब जानते हैं, कैसे काम करता है यह एप्प
एप्प डेवलप करनेवाले छात्र वैभव ने बताया कि इसे बड़ी ही आसानी से इंस्टॉल किया जा सकता है, साथ ही होम क्वॉरेंटाइन में रखे गए व्यक्ति पर कंट्रोल रूम से ही निगरानी रखी जा सकती है. वैभव ने बताया कि इसके लिए मोबाईल का GPS रखना अनिवार्य होगा. साथ ही संदिग्ध का पूरा डिटेल्स देना होगा. जिसे कंट्रोल रूम में रजिस्टर किया जाएगा. उसके बाद संदिग्ध को हर दो घंटे में खुद की सेल्फी एप्प पर डालना होगा. इस एप्प की खासियत ये ही होगी कि इस एप्प से संक्रमित मरीज पूरी तरह से स्वास्थ्य सर्विलांस पर रहेगा और उसकी हर गतिविधियां कंट्रोल रूम को उपलब्ध रहेगा. वैसे खतरनाक रूप ले चुके कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने को लेकर एक ओर जहां पूरा विश्व हकलान है, वहीं बड़े- बड़े संस्थान इस खतरे को टालने में जुट गया है. पूरे देश के इस दु:खद परिस्थिति में झारखंड के जमशेदपुर में NIT के छात्रों ने एक बेहतरीन पहल की शुरआत की है.
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