पटना:- पहले चरण में कांग्रेस 21 सीट पर चुनाव लड़ रही है, पर जेडीयू के साथ उसका सीधा मुकाबला सिर्फ सात सीट पर है. इनमें से कई सीट पर लोजपा ने भी अपने उम्मीदवार उतारे हैं. ऐसे में महागठबंधन की रणनीति लोजपा उम्मीदवार के प्रदर्शन पर टिकी है. पार्टी के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि इन सीटों पर भाजपा का वोट लोजपा को मिलता है तो लड़ाई आसान हो जाएगी. पर भाजपा जिस अक्रामकता से चुनाव लड़ रही है, उसकी उम्मीद कम है.
कांग्रेस का भाजपा के साथ 11 सीटों पर सीधा मुकाबला.
कांग्रेस का भाजपा के साथ 11 सीटों पर सीधा मुकाबला है. पार्टी के एक नेता ने कहा कि हम भाजपा से मुकाबले वाली सीट से ज्यादा जेडीयू से लड़ाई वाली सीट पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं. क्योंकि, सत्ता विरोधी वोट में बंटवारे से नुकसान भी हो सकता है. वर्ष 2012 में पंजाब विधानसभा चुनाव का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि इन चुनाव में मनप्रीत बादल की पीपुल्स पार्टी ऑफ पंजाब से पार्टी को भाजपा- अकाली समर्थक वोट काटने की उम्मीद थी, पर इसके उलट मनप्रीत बादल ने सत्ता विरोधी वोट बांट दिया और कांग्रेस हार गई.
ऐसे में यह आकलन करना अभी मुश्किल है कि लोजपा सत्ता विरोधी वोट में सेंध लगाती है, या सत्ता समर्थक वोट काटती है. आरएलएसपी और दूसरी छोटी पार्टियों के प्रदर्शन का आकलन भी शुरुआती तौर पर करना मुश्किल है. बिहार चुनाव से जुड़े कांग्रेस के एक नेता ने कहा कि हम सभी आंकड़ो का अध्ययन कर बिहार विधानसभा चुनाव रणनीति को अंतिम रूप दे रहे हैं.