तेजी से बढ़ते शहरीकरण के साथ परिवहन व अन्य सुविधाओं में सामंजस्य कैसे बैठाया जाए? बढ़ते प्रदूषण के बीच प्रदूषण मुक्त परिवहन सेवाओं का विकास कैसे हो? सड़कों में आम हो चुकी जाम की समस्या से कैसे निजात दिलाया जाए? इन सब मुद्दों पर चर्चा के लिए शुक्रवार को राजधानी लखनऊ में तीन दिवसीय ‘12वां अर्बन मोबिलिटी कॉनक्लेव’ एवं प्रदर्शनी का शुभारंभ हुआ. जिसका उद्घाटन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और केन्द्रीय आवास एवं शहरी कार्य राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) हरदीप सिंह पुरी ने दीप जलाकर किया.
केन्द्रीय आवासन एवं शहरी कार्य राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि जब उतर-प्रदेश आगे बढ़ता है तो भारत विकास के पथ पर तेजी से दौड़ता है. 2030 तक भारत के शहरी क्षेत्र में रहने वाले 600 मिलियन लोग 10 ट्रिलियन की अर्थव्यवस्था का हिस्सा होंगे. 2024 तक हमारी अर्थव्यवस्था 2.89 ट्रिलियन से बढकर 5 ट्रिलियन हो जायेगी. उस वक्त तक भारत की अर्बन मोबिलिटी विश्व स्तर की होगी। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि आज भारत का 380 किमी.का शहरी क्षेत्र मेट्रो लिंक से जुड़ चुका है. लगभग 900 किमी मेट्रो लाइन पर काम जारी है.
श्री पुरी ने कहा, अर्बन मोबिलिटी पर काम बहुत जरुरी है. जरा सोचिये अगर देश की राजधानी दिल्ली में 2002 में मेट्रो का काम शुरु न हुआ होता तो आज वहां क्या हालत होती. केंद्रीय आवासन मंत्री ने कहा कि सफलता के लिए आवश्यक है कि मेट्रो सस्ती और सुरक्षित हो. ताकि इसमें रोजाना यात्रा करने वालों को विश्वस्तरीय अनुभव हो.
मेट्रो में फ्री किराया करने की बहस पर बोलते हुए श्री पुरी ने कहा कि चूंकि हम निर्माण कार्य के लिए बैंक और अन्य वित्तीय संस्थाओं से लोन लेते हैं इसलिये जरूरी है कि हम उस लोन को वापस भी करें। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि चुनाव से ठीक दो-तीन महीने पहले ट्रांसपोर्ट फ्री करने का वादा तो किया जा सकता है लेकिन चुनाव के बाद तो किराया बढ़ना ही है। श्री सिंह ने कहा कि मेट्रो का किराया तय करने का अधिकार नेताओं को नहीं होना चाहिए। यह काम प्रोफेशनल को दिया जाना चाहिए। यदि हम मेट्रो सेवा मुफ्त कर देंगे तो इसका विस्तार कैसे करेंगे?
सम्मेलन को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 2002 में शहरी जीवन को आसान बनाने की जो नींव पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने रखी थी, उसे मई 2014 के बाद प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व में तेजी से आगे बढाया गया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि लखनऊ व कानपुर के बाद छह और शहरों में शीघ्र मेट्रो सेवा शुरू की जायेगी. इनमें आगरा, मेरठ, प्रयागराज, वाराणसी, गोरखपुर व झांसी शहर शामिल है. इन सभी की डीपीआर तैयार है. शीघ्र ही यहां पर मेट्रो का काम दिखाई देने लगेगा. योगी आदित्यनाथ ने कहा कि लखनऊ व कानपुर के बाद छह और शहरों में शीघ्र मेट्रो सेवा शुरू की जायेगी. इनमें आगरा, मेरठ, प्रयागराज, वाराणसी, गोरखपुर व झांसी शहर शामिल हैं। इन सभी की डीपीआर तैयार है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि एनसीआर में आज स्माग और प्रदूषण शहरी जीवन जीने वाले लोगों के लिए चुनौती बन गया है. इसलिये आवश्यक है कि जब हम शहरी जीवन की बात करें तो वो सिर्फ सुविधाओं से ही युक्त नहीं हो ब्लकि प्रदूषण मुक्त और स्वास्थ्य के लिए भी बेहतर होना चाहिये. लखनऊ के कार्यक्रम के बाद शहरी केन्द्रीय शहरी विकास मंत्री हरदीप सिंह पुरी और मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ ने कानपुर मेट्रो के पिलर खुदाई का कार्यक्रम का शिलान्यास किया.