हजारीबाग: नगर निगम के नीतियों के खिलाफ बुधवार को एक दिवसीय धरना प्रदर्शन किया गया. जिसमें शहर वासियों की ओर से धरना स्थल पर ही धरना प्रदर्शन किया गया. धरना समाप्ति के बाद महामहिम राज्यपाल के नाम उपायुक्त हजारीबाग को ज्ञापन सौंपा गया. जिसमें कहा गया कि बिना सुविधा के नगर निगम द्वारा अंधाधुन टैक्स वसूली की जो प्रयास की जा रही है, हम शहरवासी उसका विरोध करते हैं. आप हस्तक्षेप करें और शहरवासियों को प्रताड़ित करने का जो प्रयास किया जा रहा है, उससे उन्हें बचाया जाये.
समाजसेवी केडी सिंह ने धरना को संबोधित करते हुए कहा कि जनप्रतिनिधि सांसद, विधायक से लेकर नगर निगम के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, वार्ड पार्षद जनता के सवाल पर चुप्पी साधे हुए हैं. यह अपनी जवाबदेही जिम्मेदारियों को निभा नहीं पा रहे हैं. जिस वजह से हम शहरवासियों को आज सड़कों पर उतरने को मजबूर होना पड़ा है.
अंजुमन इस्लामिया के सचिव इकबाल अंसारी ने अपने संबोधन में कहा कि वर्तमान सरकार को गरीबों से कोई सरोकार नहीं है, इसलिए बिना सुविधा के टैक्स वसूली का जनविरोधी कार्य किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि आज हम शहरवासी संकल्प ले कि जब तक इस जनविरोधी सरकार को नहीं बदलेंगे तब तक चैन से नहीं बैठेंगे.
समाजसेवी तालिब अंसारी ने अपने संबोधन में कहा कि झारखंड में लोकतंत्र समाप्ति पर है. जनता याचक बनकर रह गई है. जबकि जनप्रतिनिधि मौज मस्ती में है. जिसे जनता समझ रही है और आने वाले समय में इन्हें वोट से चोट करेगा.
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए वरिष्ठ कांग्रेसी नेता मिथिलेश दुबे ने कहा कि हजारीबाग के जनविरोधी जनप्रतिनिधियों से जब तक जनता को छुटकारा नहीं मिलती है तब तक हमारा संघर्ष जारी रहेगा. आज शहर में ना अच्छी सड़क है, ना बिजली पानी की व्यवस्था, अस्पताल और स्कूल की स्थिति भी दयनीय है. जनता पर जबरदस्ती सैकड़ों तरह का टैक्स लादे जा रहा है. जिसमें होल्डिंग टैक्स भी है. हम इसका विरोध करते हैं. सरकार हमारी भावना को समझे नहीं तो जो उग्र आंदोलन होगा उसकी जवाबदेही सरकार की होगी.
संबोधित करने वालों में एलपी चौधरी, ऐनुल हकअंसारी, शाहिदा परवीन, भगवान दास, टिंकू खान, मोहम्मद मिनहाज, तस्लीम अंसारी, शशि मोहन सिंह, अवधेश सिंह, डॉ जमाल अहमद, रोहित कुमार कांता, देवी बीना, देवी मुस्ताक, हसन निसार अहमद, परमेश्वर महतो, संतोष प्रसाद, सरजू प्रसाद, अब्दुल हकीम आदि थे.