गोड्डा:- मंगलवार को बाल विकास में परियोजना कार्यालय में महिला पर्यवेक्षिका प्रीति रानी की अध्यक्षता में पोषण सखी और सेविका की मासिक बैठक आयोजित की गई.
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बैठक में विशेष रूप से मॉड्यूल 17 पर चर्चा की गई और बताया गया कि कुपोषण तीन प्रकार के होते हैं. वजन तथा उम्र एवं लंबाई के आधार पर बच्चे कुपोषित होते हैं. इसकी जांच समय-समय पर होती रहनी चाहिए. बताया गया कि नवजात शिशु की पहचान कैसे की जाती है. सभी को निर्देश दिया गया है कि जन्म के दिन से ही बच्चे की मां से मिलते रहना चाहिए ताकि बच्चे के स्वास्थ्य के बारे में सही जानकारी मिलती रहे और समय पर उसका इलाज किया जा सके.
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बैठक में खासतौर से कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव की जानकारी दी गई कि कैसे खाते और छींकते वक्त नाक पर, मुंह पर कपड़ा रखना चाहिए. खाने के पहले हाथ धोना चाहिए. आसपास की स्वच्छता पर ध्यान देते रहना चाहिए.
बैठक में जेडीएलपीएस प्रखंड समन्वयक मौसमी कुमारी, महिला पर्यवेक्षिका रंभा कुमारी, पूनम कुमारी, वैष्णवी देवी, स्वाति देवी, दिलजान खातून, किरण कौर, शीला टूडू, मालती हांसदा, अरूणा कुमारी, रुबी कुमारी सहित तमाम पोषण सखी और सेविका मौजूद थी.