देवेन्द्र सिंह पायक,
UP: मऊरानीपुर उसी के तहत जिला प्रशासन ने मऊरानीपुर के इतिहासिक जल विहार महोत्सव सभी धार्मिक कार्यक्रमो एवं विमानों की शोभायात्रा पर रोक लगा दी है. सभी विमानों की अगुवाई करने वाले गूदर बादशाह का बिहार मंदिर प्रांगण में हुआ. गूदर बादशाह मंदिर से जुड़े श्रद्धालुओं का कहना था वर्षों की परंपरा कोरोनावायरस की वजह से टूट गई है.
कई दौर की वार्ता के बाद प्रशासन और श्रद्धालुओं के बीच सामंजस बैठ पाया
आखिरकार दोनों पक्षों की सहमति से भगवान राम जानकी( गूदर बादशाह) का बिहार मंदिर प्रांगण में ही हुआ. ज्ञात हो कि ब्रिटिश काल में भी रोक के बावजूद गूदर बादशाह का बिहार करवाया गया था. बिहार के उपरांत अंग्रेजी हुकूमत ने कानून का उल्लंघन करने के आरोप में गूदर सरकार एवं पुजारी समेत मऊरानीपुर कोतवाली में लाए थे.
नगर वासियों और श्रद्धालुओं की भीड़ इकट्टा देखकर अंग्रेजी हुकूमत के हाथ-पैर फूल गए थे. कोतवाली परिसर से गूदर सरकार को सासम्मान मंदिर प्रांगण भेजा गया. प्रशासन की मौजूदगी में श्रद्धालुओं ने पूरी आस्था के साथ मंदिर प्रांगण में बिहार करवाया.
कुछ भी हो लेकिन कोरोनावायरस ने सदियों पुरानी परंपराओं को तोड़ने का कार्य किया. गूदर बादशाह और भगवान लठाटोर महाराज से भक्तों ने प्रार्थना की है इस कोरोनावायरस को तहस-नहस कर दे.