जावेद अख्तर,
गोड्डा: शाहीन एजुकेशनल एंड रिसर्च फाउंडेशन ने ईद उल अजहा के मौके पर सरकार व प्रशासन से मुस्लिम समुदाय को सहयोग करने की अपील की. कुर्बानी करने वाले लोगों को आने-जाने में रोक लगने की ख़बर पर फाउंडेशन के रिसर्च स्कॉलर व लेखक अफ्फान नोमानी ने कहा की ईद उल अजहा के मौके पर मुसलमानों के लिए कुर्बानी करना इस्लामिक तौर पर वाजिब (जरूरी) है.
भारतीय संविधान भी बकरीद के मौके पर कुर्बानी की इजाजत देता है. भारतीय संविधान के अनुच्छेद 25 ने धार्मिक परम्पराओं को निर्बाध रूप से मानने की गांरटी दी है. देश के विभिन्न जगहों से कुर्बानी करने वाले लोगों को आने-जाने में प्रशासन व शरारती असमाजिक तत्वों द्वारा रोक की ख़बर आ रही है. जो इस मुल्क के तहज़ीब व संविधान के भी खिलाफ है.
इसके लिए असामाजिक तत्त्वों पर लगाम व प्रशासन को भी सरकार हिदायत दे कि बेवजह मुस्लिम समुदाय को परेशान न किया जाए. लॉकडाउन और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराते हुए नमाज पढ़ने की इजाजत दी जाए.