शशि भूषण दूबे कंचनीय,
लखनऊ(बहराइच): सभी जिले के निवासी एक गर्भवती महिला को शनिवार देर रात चिकित्सक ने गलत इंजेक्शन लगा दिया. महिला की जिला अस्पताल पहुंचते ही मौत हो गई.
इस पर परिवारजन शव लेकर इंजेक्शन लिखने वाली महिला चिकित्सक के क्लीनिक पर पहुंच गए. डॉक्टर के घर के अंदर से न निकलने पर जमकर हंगामा हुआ. मौके पर पहुंची पुलिस ने किसी तरह लोगों को समझा-बुझाकर शांत किया.
श्रावस्ती जिले के लक्ष्मणपुर निवासी 36 वर्षीय साधना सोनी 8 माह की गर्भवती थी. गर्भावस्था की देखभाल के लिए उनका इलाज शहर के जेल रोड पर स्थित केडिया हॉस्पिटल में चल रहा था.
साधना की पति रवि सोनी ने बताया कि हर माह चेकअप होता था जच्चा बच्चा स्वस्थ थे. रवि ने कहा कि बीते 20 अगस्त को वह पत्नी साधना को चेकअप के लिए बहराइच लाए थे. महिला चिकित्सक डॉ रीना केडिया ने जच्चा बच्चा के स्वास्थ्य के लिए एक इंजेक्शन लिखा था. जिसे 5 दिन लगवाना था.
पति रवि ने बताया कि शनिवार को सुबह उसने डॉ रीना की ओर से लिखी गई दवाई खरीदी. जिसमें इंजेक्शन भी था. शाम को क्षेत्रीय चिकित्सक के द्वारा साधना को इंजेक्शन लगाया गया.
रवि ने बताया कि आधा इंजेक्शन लगते ही साधना बेहोश हो गई इस पर चिकित्सक ने सिरिंज बाहर निकाल ली तत्काल डॉ रीना केडिया को फोन कर मामले से अवगत कराया.
डॉ रीना की ओर से बताए गए दो और इंजेक्शन लगाकर मुंह पर पानी का छींटा मारा गया. लेकिन साधना को होश नहीं आ सका. इस पर परिवारी जन बेहोश साधना को लेकर जिला अस्पताल बहराइच आए. रात 9:00 बजे के आसपास साधना के बहराइच पहुंचने पर जिला अस्पताल के डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया.
इस पर परिवार जन साधना के शव को लेकर डॉक्टर केडिया के जेल रोड स्थित क्लीनिक पर पहुंच गए. परिवार जन डॉ रीना को बाहर बुलाकर कार में लेटी साधना को दिखाने की बात कर रहे थे.
पति रवि का कहना है कि रीना केडिया बाहर नहीं निकली. उनके पति अनिल केडिया बरामदे तक चैनल गेट पर आकर खड़े हुए. वहीं से उन्होंने कहा कि जच्चा-बच्चा की मौत हो चुकी है इसे घर ले जाएं. इसी बात पर परिजन भड़क उठे. जमकर कहासुनी हुई. चिकित्सक ने कोतवाली देहात की फोर्स बुला ली. किसी तरह पुलिस कर्मियों ने सभी को समझा-बुझाकर शांत किया.
इस मामले में डॉ अनिल केडिया का कहना है कि उनकी पत्नी डॉ रीना ने चिकित्सक धर्म का पालन करते हुए इंजेक्शन लिखा था. इंजेक्शन गलत तरीके से लगाया गया जिससे मौत हुई.
उन्होंने कहा कि साजिश के तहत क्लीनिक पर हंगामा किया गया. वहीं इस मामले में सीएमओ डॉ सुरेश सिंह का कहना है कि प्रार्थना पत्र मिलने पर जांच कराकर कार्रवाई की जाएगी.