महाराष्ट्र: गूगल पर महाराष्ट्र के मीरा भायंदर में नया नगर पुलिस स्टेशन की एक पुरानी गूगल रिव्यू सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर वायरल हो रही है. यह रिव्यू पांच महीने पहले एक मंसूरी अवेश द्वारा पोस्ट की गई थी. मंसूरी अवेश ने अपनी समीक्षा में कहा कि गिरफ्तार होने के बाद उनके साथ नया नगर पुलिस स्टेशन में अच्छा बर्ताव किया गया. यह शख्स नया नगर पुलिस स्टेशन के अधिकारियों द्वारा फिर से गिरफ्तार होने की इच्छा लेकर गया था.
शख्स ने लिखा था गिरफ्तारी के बाद उन्होंने मेरे साथ बहुत अच्छा व्यवहार किया. सेल्स भी बढ़िया थे, साफ़ सुथरे. खाना बहुत अच्छा था. हथकड़ी थोड़ी तंग थी लेकिन यह अच्छा है. अधिकारी भी दयालु हैं. कुल मिलाकर, यह एक बहुत अच्छा अनुभव था और अगर मुझे मौका मिलता है तो मैं एक बार फिर से वहां जाऊंगा गिरफ्तार होने, “अवेश ने गूगल पर पुलिस स्टेशन के रिव्यू पेज पर अपनी समीक्षा में लिखा था. भारतीय पुलिस सेवा (IPS) अधिकारी संतोष सिंह द्वारा आज ट्विटर पर इस रिव्यू के शेयर करने के बाद यह वायरल हो गई. उन्होंने कुछ वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों, आईएएस अधिकारियों और पत्रकार को टैग किया और इस बारे में उनकी राय मांगी कि क्या किसी पुलिस स्टेशन को एक कैदी के साथ इतना अच्छा व्यवहार करना चाहिए? आईपीएस अधिकारी संतोष सिंह ने रिव्यू का स्क्रीनशॉट शेयर करते हुए पूछा, “आप इसका आकलन कैसे करते हैं?”
Google रिव्यू पेज पर बहुत से लोगों ने नया नगर पुलिस स्टेशन में तैनात अधिकारियों को बधाई दी है. आर्यन ने कहा, “जेल उम्मीद से बेहतर था और रात के खाने में राजमा चावल मिला जो सबसे अच्छी बात थी. वास्तव में वहां के अच्छे लोगों ने मेरे साथ सिगरेट शेयर की, अब निश्चित रूप से जल्द ही फिर से जाएंगे.” आर्यन नाम के यूजर ने दावा किया कि उसे नया नगर पुलिस स्टेशन में गिरफ्तार किया गया था.
यह स्पष्ट नहीं है कि इन लोगों को वास्तव में गिरफ्तार किया गया था और नया नगर पुलिस स्टेशन में रखा गया था. यह पुलिस स्टेशन नया नगर इलाके में सरोपी आयशा कोऑपरेटिव सोसाइटी के पास स्थित है. वायरल रिव्यू ने इस बात पर बहस छेड़ दी कि हिरासत में लिए गए लोगों के साथ पुलिस स्टेशन में किस तरह का व्यवहार किया जाना चाहिए.