रांची: आज का पंचांग, आपका दिन शुभ (मंगलमय) हो
●कलियुगाब्द……5122
●विक्रम संवत्…..2077
●शक संवत्…….1942
●मास….अश्विन
●पक्ष…….कृष्ण
●तिथी……दशमी
दुसरे दिन प्रातः 04.12 पर्यंत पश्चात एकादशी
●रवि……दक्षिणायन
●सूर्योदय..प्रातः 06.12.59 पर
●सूर्यास्त..संध्या 06.33.55 पर
●सूर्य राशि…..सिंह
●चन्द्र राशि..मिथुन
●गुरु राशी……धनु
●नक्षत्र……..आर्द्रा
दोप 04.16 पर्यंत पश्चात पुनर्वसु
●योग…….व्यतिपात
संध्या 05.22 पर्यंत पश्चात वरिघ
●करण………वणिज
दोप 04.17 पर्यंत पश्चात विष्टि
●ऋतु…………..शरद
●दिन………..शनिवार
★★ आंग्ल मतानुसार :-
12 सितम्बर सन 2020 ईस्वी .
★★ तिथी विशेष :-
दशमी श्राद्ध
★ शुभ अंक……….3
★ शुभ रंग……….हरा
★★ अभिजीत मुहूर्त :-
दोप 11.58 से 12.47 तक .
★★ राहुकाल :-
प्रात: 09.19 से 10.51 तक .
★★ दिशाशूल :-
पूर्वदिशा – यदि आवश्यक हो तो अदरक या उड़द का सेवन कर यात्रा प्रारंभ करें .
★★ चौघडिया :-
प्रात: 07.47 से 09.18 तक शुभ
दोप. 12.22 से 01.53 तक चर
दोप. 01.53 से 03.25 तक लाभ
दोप. 03.25 से 04.57 तक अमृत
संध्या 06.28 से 07.57 तक लाभ
रात्रि 09.25 से 10.53 तक शुभ .
★★ आज का मंत्र :-
|| ॐ कुलवागीश्वर्यै नम: ||
★★ सुभाषितानि :-
अहिंसा सत्यवचन मानृशंस्यं दमो घृणा .
एतत् तपो विदुः र्धीराः न शरीरस्य शोषणम् ॥
◆ अर्थात :- अहिंसा, सत्यवचन, दयाभाव, दम और (भोगों के प्रति) तिरष्कार, इन्हें धीर पुरुष तप कहते हैं, न कि शरीर के शोषण को .
★★ आरोग्यं सलाह :-
◆◆ पीपल के पेड़ और पत्तों के आयुर्वेदिक फायदे :-
◆ 1. अस्थमा में :- अस्थमा या सांस की बीमारी में पीपल के पेड़ की छाल बहुत ही गुणकारी है. इसके लिए छाल का अंदरूनी हिस्सा निकालर उसका चूर्ण बना लें. इसे खाने से सांस संबंधित समस्याएं दूर हो सकती है.
◆ 2. पीलिया रोग में :- पीलिया रोग से छुटकारा पाना चाहते हैं तो नियमित रूप से पीपल के पत्तों का शरबत बनाकर और मिश्री मिलाकर पीने से लाभ मिलता है.
◆ 3. नकसीर फूटने और हकलाने में :- पीपल के ताजे पत्तों को तोड़कर उसकर रस निकालकर नाक में डालने से नकसीर फूटने की समस्या में आराम मिलता है. इसके अलावा पीपल के पके हुए फलों को सुखाकर बनाए गए चूर्ण को शहद के साथ खाने हकलाने की समस्या कम होती है.