उत्तर प्रदेश: उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड की पुलिस की मौजूदगी में रविवार को संपन्न हुई शादी कोविड-19 के बचाव के चलते लागू लॉकडाउन की पाबंदी, दंपत्ति के वैवाहिक जीवन के लिए यादगार बनी.
अक्षय तृतीया के दिन सीमा पर ही वर-वधू पक्ष समेत दोनों को बुलाया गया. रविवार को सुबह सवेरे रिश्तेदारों की उपस्थिति में विधि विधान से विवाह संपन्न हुआ.
पारिवारिक सूत्रों ने अनुसार उत्तर प्रदेश में मुरादाबाद के मूढापांडे के तहानायक गांव निवासी विक्रम सिंह की शादी उत्तराखंड के बरखेड़ा पांडे गांव निवासी नेहा पुत्री स्वर्गीय जगत सिंह के साथ तय हुई थी. शादी के मुहुर्त के अनुसार निर्धारित तिथि के हिसाब से दोनों परिवारों में तैयारियां चल ही रही थीं. इस दौरान वैश्विक महामारी कोरोना से देश जूझने लगा और लॉकडाउन लागू हो गया.
उन्होंने बताया कि कोविड-19 बीमारी की वजह से लाॅकडाउन लागू हो जाने के बावजूद वर-वधू पक्ष में से कोई भी शादी को आगे टालने के लिए तैयार नहीं थे. निर्धारित समय पर विवाह करने के फैसले पर अडिग रहे. उत्तराखंड सरकार से शादी की अनुमति के लिए भी भरसक प्रयास किए गए लेकिन बात नहीं बन पाई. इसके बाद रविवार को दूल्हा अपने पिता और ड्राइवर के साथ कार से निकला. अनुमति न होने के कारण यूपी-उत्तराखंड बॉर्डर पर उत्तराखंड पुलिस ने रोक दिया. दूल्हे ने पुलिस से मिन्नतें भी खूब की लेकिन पुलिस टस से मस नहीं हुई.
पारिवारिक सूत्रों ने बताया कि बाद में कोई रास्ता न निकलता देख तय हुआ कि लड़की और उसके परिवार को दोनों राज्यों की सीमा पर ही बुलाकर शादी करा दी जाए. इसके बाद लड़की अपने मां और भाई के साथ बॉर्डर पर पहुंच गयी तथा उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड पुलिस की सहमति से सीमा पर ही पंडित ने वैवाहिक संस्कार संपन्न कराया.
सोशल डिस्टेंसिग का पालन करते हुए दोनों राज्यों की पुलिस ने वर और वधू की ओर से शामिल हो कर मुंह मीठा करने के बाद नवदंपत्ति को आशीर्वाद देकर विदा किया.