यह दावा इंसान के भविष्य के लिए काफी मायने रखता है, क्योंकि WHO के विशेषज्ञ ने दावा किया था कि हो सकता है कि कोरोना वायरस की कोई वैक्सीन न मिले, जैसे कि HIV और डेंगू की वैक्सीन नहीं मिल पाई है.
सीएनएन के मुताबिक, इंपीरियल कॉलजे लंदन में हेल्थ के प्रफेसर डेविड नाबारो ने कहा, ‘
‘कुछ ऐसे वायरस हैं, जिनके खिलाफ अभी तक कोई वैक्सीन नहीं बन पाया है।”
नाबारो ने आगे कहा,
”हम दावे के साथ नहीं कह सकते हैं कि एक वैक्सीन आ ही जाएगा और यदि आता भी है प्रभाव और सुरक्षा के सभी टेस्ट पास कर लेगा या नहीं.”
उन्होंने कहा कि जब तक वैक्सीन नहीं बन जाता है हमें खुद को बचाव के लिए तैयार करना एक विकल्प हो सकता ह.
अमेरिका के ह्यूस्टन में बायलोर कॉलेज ऑफ मेडिसिन में नैशनल स्कूल ऑफ ट्रोपिकल मेडिसिन के डीन डॉक्टर पीटर होत्ज ने कहा,
”हमने एक साल या 18 महीने में कभी कोई वैक्सीन नहीं बनाया है। इसका मतलब यह नहीं है कि यह असंभव है, लेकिन यह बहुत बड़ी उपलब्धि होगी. हमें प्लान ए और प्लान बी की जरूरत है.”
WHO के मुताबिक कुल 102 वैक्सीन रेस में हैं. इनमें से 8 मानवीय परीक्षण स्टेज में पहुंच गए हैं. कोविड-19 के मरीजों के लिए कई तरह के इलाज पर प्रयोग चल रहा है.वैज्ञानिक एंटी इबोला ड्रग रेमडेसिवीर और प्लाज्मा थेरेपी भी आजमा रहे हैं. एंटी मलेरिया दवा हाइड्रोक्सीक्लोरोक्वाइन का भी प्रयोग किया जा रहा है.
इस वक्त कोरोना से पूरी दुनिया कोरोना से परेशान है. ढाई लाख से ज्यादा लोग इस वायरस के चलते जान गंवा चुके हैं और करीब 37 लाख इस कोरोना से संक्रमित हैं. दवा के अभाव में इस बीमारी से निपटने में सभी देशों को काफी मुश्किल पेश आ रही है.
आपको बता दे की विज्ञान अब तक HIV और डेंगू का वैक्सीन बनाने में सफल नहीं हो सका है. प्रयाश जरूर किये जा रहे हैं लेकिन अभी तक सफलता हाथ नहीं लगी है, तो क्या कोरोना भी इसी प्रकार के रोगो की गिनती में आजायेगा जिसका वैक्सीन बनाना नामुमकिन सा हो जायेगा.