दिल्ली: पीएम नरेंद्र मोदी ने 12 मई को 20 लाख करोड़ के विशेष आर्थिक पैकेज की घोषणा की. नाम दिया ‘आत्मनिर्भर भारत अभियान’. 13, 14 और 15 मई को शाम चार बजे वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण मीडिया के सामने आईं और 20 लाख करोड़ के राहत पैकेज के बारे में जानकारी दी.
15 मई, शुक्रवार का ये प्रेस कॉन्फ्रेंस पूरी तरह किसान केंद्रित था. इस दौरान कृषि क्षेत्र के लिए 11 ऐलान किए गए. इनमें आठ फैसले कृषि और इंफ्रास्ट्रक्चर से जुड़े हैं, जबकि तीन फैसले गवर्नेंस और रिफॉर्म के हैं.
सुधार का ऐलान
- किसानों की निश्चित आय, जोखिम रहित खेती और गुणवत्ता के मानकीकरण के लिए एक कानून बनाया जाएगा. इस फायदा ये होगा कि किसानों का उत्पीड़न रुकेगा और किसानों के जीवन में सुधार आएगा.
- एक केंद्रीय कानून आएगा, जिससे किसान अपने उत्पाद को आकर्षक मूल्य पर दूसरे राज्यों में भी बेच सकेंगे. अभी किसान सिर्फ लाइसेंसी को ही बेचा जा सकता है. अगर किसान के पास किसी को भी बेच सकने का विकल्प होगा, तो उसे मनचाही कीमत मिलेगी.
- आवश्यक वस्तु अधिनियम, 1955 में लागू हुआ था. अब देश में प्रचुर उत्पादन होता है, हम निर्यात करते हैं. इसलिए इसमें बदलाव जरूरी है. अब अनाज, तिलहन, प्याज, आलू आदि को इससे मुक्त किया जाएगा.
किसानों के लिए ऐलान
- कृषि का आधारभूत ढांचा बनाने के लिए एक लाख करोड़ की योजना लाई गई.
- लॉकाडाउन के दौरान पीएम किसान फंड में 18,700 करोड़ ट्रांसफर किए गए है. PM फसल बीमा योजना के तहत 6,400 करोड़ का क्लेम पेमेंट हुआ. लॉकडाउन के दौरान 5000 करोड़ की अतिरिक्त लिक्विडिटी का लाभ किसानों को हुआ है
- ऑपरेशन ग्रीन का विस्तार टमाटर, प्याज और आलू के अलावा बाकी सभी फल और सब्जियों के लिए भी किया जाएगा.
- मधुमक्खी पालन के लिए 500 करोड़ रुपये की सहायता दी जाएगी. इससे मधुमक्खी पालन के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण किया जाएगा. इससे दो लाख मधुमक्खी पालकों की आय बढ़ेगी.
- हर्बल पौधों के उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए 4,000 करोड़ रुपये दिए जाएंगे. इन पौधों की ग्लोबल डिमांड है.
- लगभग 10 लाख हेक्टेयर में हर्बल प्रोडक्ट की खेती होगी. इससे 5,000 करोड़ की आय किसानों को होगी.
- गंगा के किनारे 800 हेक्टेयर भूमि पर हर्बल प्रोडक्ट के लिए कॉरिडोर बनाया जाएगा.
- एनिमल हसबेंड्री इन्फ्रास्ट्रक्चर डेलेवपमेंट फंड में 15,000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है. दूध उत्पादन, वैल्यू एडिशन के लिए खर्च किए जाएंगे.
- सरकार53 करोड़ पशुओं के टीकाकरण की योजना लेकर आई है. इसमें लगभग 13,343 करोड़ रुपये खर्च होंगे.
- 20 हजार करोड़ की प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना, जिसकी घोषणा बजट में की गई की, उसे कोरोना की वजह से तत्काल लागू किया जा रहा है. इसमें मछुआरों को नई नौकाएं दी जाएंगी. 55 लाख लोगों को रोजगार मिलेगा.
- माइक्रो फूड इंटरप्राइज के लिए 10,000 करोड़ की स्कीम. बिहार में मखाना के क्लस्टर, केरल में रागी, कश्मीर में केसर, आंध्र प्रदेश में मिर्च, यूपी में आम से जुड़े क्लस्टर बनाए जा सकते हैं. इसका फायदा करीब दो लाख माइक्रो फूड इंटरप्राइज को मिलेगा.