- राज्य में खुलेगा मजदूरों के लिए फैसिलिटेशन सेंटर – सत्यानंद भोक्ता
- फिया फाउंडेशन के साथ हुआ इकरारनामा मजदूरों के कल्याण की योजनाओं का होगा प्रचार-प्रसार
रांचीः श्रम नियोजन एवं प्रशिक्षण मंत्री सत्यानंद भोक्ता कहा कि कोरोना संकट के कारण पूरे देश से झारखंड के प्रवासी मजदूर लौट रहे है. विभाग के द्वारा संचालित हेल्पलाइन नम्बर में 10 लाख से अधिक प्रवासी मजदूरों ने निबंधन कराया है, जबकि 7 लाख से अधिक मजदूर राज्य लौटने की इच्छा जाहिर कर चुके है.
राज्य में अब तक 1.5 लाखसे अधिक मजदूर राज्य लौट चुके है और विभिन्न स्थानों से 74 ट्रेनसे प्रवासी मजदूर आ रहे है. ऐसे में श्रम विभाग के द्वारा मजदूरों को सरकारी सुविधा मुहैया करने के साथ-साथ उनको रोज्गार से जोड़ने का पहल विभाग के द्वारा किया जा रहा है.
हेमंत सोरेन के नेतृत्व में राज्य सरकार मजदूरों को काम दिलाने के साथ उनके काल्यण के लिय वंचनबध है. विभाग के द्वारा आज मजदूरों के लिय चल रही योजनाओं को लेका जागरूकता लाने के लिए फिया फाउंडेश के साथ एमओयू किया गया है. जिसके फलस्वरूप प्रवासी मजदूर एवं असंगठित क्षेत्र में काम कर रहे मजदूरों का डाटा बेस और उन्हे सरकारी सुविधा की जानकारी मुहैया हो इसके लिए जन जागरूकता लाने का काम किया जायेगा.
मजदूरों के लिय खोले जाने वाला फैसिलिटेशन सेंटर में प्रवासी मजदूर और राज्य में काम कर रहे मजदूरों का डाटा बेस एवं उन्हें फैसिलिटेशन की सुविधा उपल्बध कराई जायेगी.
मजदूरों को काम अब राज्य में ही उपल्बध करायेगी सरकार
श्रम नियोजन एवं प्रशिक्षण मंत्री सत्यानंद भोक्ता ने कहा विभिन्न राज्यों से प्रवासी मजदूर आ रहे है हेमंत सोरेन के नेतृत्व में राज्य सरकार अब मजदूरों के लिय अधिक से अधिक रोजगार उपल्बध कराने के दिशा में काम कर रहा है.
दूसरे राज्यों में फसे झारखंड के प्रवासी मजदूरों को राज्य सरकार अनके घर तक पहुचाने के लिय बचन बंध है. ज्लद ही प्रवासी मजदूर अपने गांव में होगे. सकट के इस समय में तब दूसरे राज्यों को सवरने का काम झारखंड के प्रवासी मजदूरों ने किया है अब उन कामगारों के बदौलत झारखंड की तस्वीर और तकदीर बदलेगी.
पंचायत स्तर पर मुख्यमंत्री दीदी किचन की संख्या बढ़ाया जाए सत्यानंद भोक्ता
वहीं एमओयू के दैरान सत्यानंद भोक्ता ने जानकारी दी कि स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता की अध्यक्षता में गठित मंत्री समूह की बैठक में मामला उठाते हुए कहा ग्रामीण क्षेत्रों में बड़े पैमाने पर मजदूरों की वापसी होगी, जिस कारण उनके भोजन की व्यवस्था करना सरकार के लिए चुनौती हैं.
सरकार भोजन की व्यवस्था सुनिश्चित हो इसके लिए विभिन्न प्रकार के योजनाएं संचालित कर रही हैं, मुख्यमंत्री दालभात योजना, पीडीएस प्रणाली और मुख्यमंत्री दीदी किचन योजना बहुत प्रभावी तरीके से कार्यरत हैं.
उन्होंने दीदी किचन योजना की संख्या को बढ़ाने का प्रस्ताव रखा जिसे समिति ने मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुत करने की अनुशंसा भी किया गया.
क्या कहते है फिया के स्टेड हेड जाॅनसन तोपनो
फिर फाउंडेशन के द्वारा श्रम विभाग झारखंड सरकार के साथ कोविड-19 हेल्पलाइन के संचालन में सहयोग किया जा रहा है. इस करार के अनुसार झारखंड में प्रवासी मजदूरों उनके अधिकार एवं कल्याण के लिए जागरूकता लाने के काम किया फाउंडेशन के द्वारा किया जाएगा या फाउंडेशन के द्वारा जिला एवं राज्य स्तर पर फैसिलिटेशन सेंटर की स्थापना की जाएगी जहां मजदूरों का समुचित डेटाबेस होगा.
मजदूरों की हुनर कितने दिन प्रवासी मजदूर दूसरे स्थानों पर काम के लिए जाना पड़ता है इन तमाम विषयों को लेकर या सेंटर में डाटा बेस्ट होगा श्रम विभाग की पहल पर पहला फैसिलिटेशन सेंटर रांची में होगा. यह करार नन फाइनेंसियल है.
प्रवासी मजदूरों के कल्याण के लिए श्रम विभाग के द्वारा फिया फाउडेशन के साथ किय गये इकरार नामा के दैरान श्रम विभाग के उमेश प्रसाद सिंह, लियकात अली एंव अन्य अधिकारी मौजूद रहे. यह एमओयू श्रम विभाग नेपाल हाउस में किया गया.