रांची : स्कूल फीस पर लंबे समय से चला आ रहा कंफ्यूजन थोड़ा दूर हो गया है. निजी स्कूल प्रबंदन के सात शिक्षा मंत्री जगन्नाथ महतो की हुई बैठक में निर्णय लिया गया है कि स्कूल सिर्फ 2 महीने अप्रैल और मई की ही ट्यूशन फीस लेगें. और बाकि किसी भी तरह के फीस पर फैसला बाद में लिया जायेगा. शिक्षामंत्री के साथ अभिभावक संघ की मीटिंग में फैसला लिया गया है कि जो भी स्कूल पहले फीस वसूल चुके हैं. उस फीस को स्कूल एडजस्ट करेंगे. और यदि कोई स्कूल बेवजह छात्रों या अभिभावक पर फीस को लेकर किसी तरह का दवाब डालते हैं तो उसकी डीसी स्तर पर जांच की जायेगी. यदि फीस से संबंधित कोई भी शिकायत आती है, तो इसपर डीसी स्तर की कमेटी बनाकर जांच की जायेगी. वैसे स्कूलों पर कार्रवाई की जायेगी. ये कमेटी हर जिले में डीसी स्तर पर बनायी जायेगी.
ये लिया गया निर्णय
बैटक में दो माह की ट्यूशन फीस के अलावा किसी अन्य तरह की फीस नहीं लेने का निर्णय लिया गया. सात ही कहा गया कि इसके अलावा अन्य फैसला विभाग की चिट्ठी आने के बाद फैसला लिया जायेगा.किसी अभिभावक पर प्रेशर नहीं बनाया जायेगा। किसी बच्चे को स्कूल से नहीं निकालेंगे।परीक्षा से वंचित नहीं किया जाएगा। एनुअल फीस, ट्रांसपोर्टेशन फीस आदि का निर्णय दिल्ली सुप्रीम कोर्ट में चल रहे केस का निर्णय आने के बाद लिया जायेगा. जो स्कूल फीस ले चुके हैं, उन्हें फीस एडजस्ट करना होगा. एनुअल फीस दो माह का नहीं देना होगा.
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