उन्नाव दुष्कर्म पीड़िता की कार की रविवार को रायबरेली में एक ट्रक के साथ टक्कर हुई। जिन परिस्थितियों में और जिस तरह से यह टक्कर हुई है वह कई सवाल खड़े कर रही है। इस हादसे में पीड़िता की चाची की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि एक अन्य महिला ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। इस दुर्घटना में पीड़िता, उसके वकील समेत तीन लोग गंभीर रूप से जख्मी हो गए, जिनका लखनऊ के किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी में इलाज चल रहा है। इस हादसे को लेकर कुछ ऐसी परिस्थितियां सामने आई हैं जो बड़े सवाल खड़े कर रही हैं।
* यूपी 71 एटी 8300 यही नंबर प्लेट ट्रक के आगे और पीछे लगी है। मगर दोनों ओर उसे ग्रीस से पोता गया था, ताकि नंबर छिपा रहे। बड़ा सवाल यह कि ऐसा किन कारणों से किया गया था। क्या इसकी असल वजह आरटीओ की डर थी या किसी साजिश के तहत ऐसा किया गया था। फिलहाल, पुलिस इस मामले में एफएसएल (फोरेंसिक साइंस लैब) के विशेषज्ञों की मदद ले रही है। वजह का खुलासा तो पुलिस की तफ्तीश में ही सामने आ पाएगा।
* हादसे के समय दुष्कर्म पीड़िता की सुरक्षा में तैनात तीनों सिपाही नहीं थे, इसे लेकर भी सवाल उठ रहे हैं। हलांकि, लखनऊ जोन के एडीजी राजीव कृष्णा ने बताया कि प्रारंभिक जानकारी के मुताबिक पीड़ित परिवार ने खुद ही सुरक्षाकर्मी को साथ न आने के लिए कहा था, क्योंकि कार में जगह कम थी। हालांकि, प्रशासन के आदेशानुसार इन्हें हर हाल में पीड़िता के साथ मौजूद रहना चाहिए था। फिलहाल, इसकी भी जांच के निर्देश दे दिए गए हैं।
* पीड़िता और उसके परिवार को विधायक के खिलाफ दर्ज मुकदमा वापस लेने के लिए कथित तौर पर धमकाया जा रहा था। इसके चलते पीड़िता दिल्ली में रह रही थी। बीती 20 जुलाई को सीबीआइ को बयान देने गांव आई थी। रविवार को चाचा से मुलाकात के बाद वह दिल्ली लौटने वाली थी। पीड़िता रविवार को रायबरेली जेल में बंद अपने चाचा से चाची, गांव की एक महिला तथा वकील के साथ मिलने जा रही थी। ऐसे में यह दुर्घटना महज संयोग है या इसके पीछे कोई साजिश…
* सवाल यह भी उठ रहा है कि आखिर पीड़िता के चाचा को किन परिस्थितियों में उन्नाव से रायबरेली जेल भेजा गया था। कहीं इसके पीछे भी कहीं कोई साजिश तो नहीं थी। आठ अप्रैल 2018 को पीड़ित किशोरी ने परिवार के साथ मुख्यमंत्री आवास के पास आत्मदाह का प्रयास किया था। अगले ही दिन नौ अप्रैल को पीड़ित किशोरी के पिता की उन्नाव में न्यायिक अभिरक्षा में मौत हो गई थी। इन तमाम सवालों के जवाब मिलने अभी भी बाकी हैं।
* प्रत्यक्षदर्शियों की मानें तो हादसे के वक्त तेज बारिश हो रही थी। ट्रक रायबरेली से लालगंज की ओर जा रहा था। तीखे मोड़ पर कार आ गई और ट्रक ड्राइवर ने उस पर नियंत्रण खो दिया। पुलिस इसे हादसा मानकर ही जांच कर रही है। बकौल थानाध्यक्ष उसकी गिरफ्तारी इतनी देर बाद हुई है कि ऐसा कहना मुश्किल है कि वह शराब के नशे में था या नहीं। फिलहाल उससे पूछताछ जारी है। सवाल उठना लाजमी है कि यदि वह नशे में नहीं था तो बारिश में ट्रक की रफ्तार इतनी तेज क्यों थी।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने उन्नाव बलात्कार पीड़िता के साथ हुई सड़क दुर्घटना को चौंकाने वाली घटना करार देते हुए सोमवार को उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार पर निशाना साधा और सवाल किया कि आखिर भाजपा सरकार से न्याय की क्या उम्मीद की जा सकती है. उन्होंने ट्वीट कर कहा, ” उन्नाव बलात्कार पीड़िता के साथ सड़क दुर्घटना का हादसा चौंकाने वाला है.” प्रियंका ने सवाल किया, “इस केस में चल रही सीबीआई जांच कहां तक पहुंची? आरोपी विधायक अभी तक भाजपा में क्यों हैं? पीड़िता और गवाहों की सुरक्षा में ढिलाई क्यों? ” उन्होंने यह भी पूछा, “इन सवालों के जवाब बिना, क्या भाजपा सरकार से न्याय की कोई उम्मीद की जा सकती है?” कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने कहा, “बलात्कार के घृणित अपराध की पीड़ित बेटी के लिए उन्नाव व उत्तर प्रदेश न्याय चाहता था,पर न्याय की बजाय क्या हुआ? हत्या का षड्यंत्र? पिता की पुलिस हिरासत में हत्या, अब परिवार खोया और लड़ रही ज़िंदगी की जंग!” उन्होंने सवाल किया, “आदित्यनाथ जी- मेरा कातिल ही मेरा मुंसिफ़ है, क्या मेरे हक़ में फ़ैसला देगा?” गौरतलब है कि गत रविवार को हुए सड़क हादसे में उन्नाव बलात्कार मामले की पीड़िता गंभीर रूप से घायल हो गई. हादसे में पीड़िता की मौसी, चाची और ड्राइवर की मौत हो गई. पीड़ित महिला और उसके वकील को गंभीर हालत में अस्पताल में भर्ती कराया गया है. भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर मामले का मुख्य आरोपी हैं.
वहीं दिल्ली राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने उन्नाव से भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर पर बलात्कार का आरोप लगाने वाली लड़की से लखनऊ स्थित ट्रामा सेंटर में मुलाकात की. लड़की की मां ने इस हादसे को हत्या की साजिश करार दिया है. यह लड़की रविवार को रायबरेली के गुरबख्श गंज क्षेत्र में एक ट्रक और कार के बीच टक्कर में घायल हो गई थी. इस घटना में उसकी मौसी और चाची की मृत्यु हो गई थी जबकि वह तथा महेंद्र सिंह नामक वकील घायल हो गए थे. स्वाति ने बातचीत में कहा कि उन्होंने लड़की से मुलाकात की है और उसने तथा उसके परिजन ने उसकी हत्या की साजिश के तहत वह हादसा कराए जाने का इल्जाम लगाया है.