नई दिल्ली: पीएम नरेंद्र मोदी ने लाल किले की प्राचीर से 74वें स्वतंत्रता दिवस के मौके पर देशवासियों को संबोधित करते हुए कहा कि एलओसी (LOC) से लेकर एलएसी ( LAC) तक हमारे जवान पूरी तरह मुस्तैद हैं.
उन्होंने कहा कि सीमा पर देश को चुनौती दी गई. लेकिन LOC से लेकर LAC तक देश की संप्रभुता पर जिस किसी ने आंख उठाई है, देश की सेना ने उसका उसी भाषा में जवाब दिया है.
पीएम मोदी ने कहा कि भारत की संप्रभुता का सम्मान हमारे लिए सर्वोच्च है. इस संकल्प के लिए हमारे वीर जवान क्या कर सकते हैं, देश क्या कर सकता है, ये लद्दाख में दुनिया ने देखा है.
भारत के जितने प्रयास शांति और सौहार्द के लिए हैं, उतनी ही प्रतिबद्धता अपनी सुरक्षा के लिए, अपनी सेना को मजबूत करने की है. भारत अब रक्षा उत्पादन में आत्मनिर्भरता के लिए भी पूरी क्षमता से जुट गया है.
उन्होंने कहा, ‘आतंकवाद हो या विस्तारवाद, आज भारत डटकर मुकाबला कर रहा है. दुनिया का भारत पर विश्वास मजबूत हुआ है. पिछले दिनों भारत संयुक्त राष्ट्र में 192 में से 184 वोट हासिल कर अस्थायी सदस्य चुना गया.
विश्व में हमने कैसे यह पहुंच बनाई है, यह इसका उदाहरण है. जब भारत मजबूत हो, भारत सुरक्षित हो, तब यह संभव होता है. भारत का लगातार प्रयास है कि अपने पड़ोसी देशों के साथ अपने सदियों पुराने सांस्कृतिक और सामाजिक रिश्तों को और गहराई दें. दक्षिण एशिया में दुनिया की एक चौथाई जनसंख्या रहती है.’
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा भारत के जितने प्रयास शांति और सौहार्द के लिए हैं, उतनी ही प्रतिबद्धता अपनी सुरक्षा के लिए, अपनी सेना को मजबूत करने की है.
उन्होंने कहा कि भारत अब रक्षा उत्पादन में आत्मनिर्भरता के लिए भी पूरी क्षमता से जुट गया है. देश की सुरक्षा में हमारे बॉर्डर और कोस्टल इंफ्रास्ट्रक्चर की भी बहुत बड़ी भूमिका है.
पीएम ने कहा कि हिमालय की चोटियां हों या हिंद महासागर के द्वीप, आज देश में रोड और इंटरनेट कनेक्टिविटी का अभूतपूर्व विस्तार हो रहा है, तेज़ गति से विस्तार हो रहा है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज भारत ने असाधारण समय में असंभव को संभव किया है. इसी इच्छाशक्ति के साथ प्रत्येक भारतीय को आगे बढ़ना है. वर्ष 2022, हमारी आजादी के 75 वर्ष का पर्व, अब बस आ ही गया है.
उन्होंने कहा कि हमारी Policies, हमारे Process, हमारे Products, सब कुछ सर्वश्रेष्ठ होने चाहिए, तभी हम एक भारत-श्रेष्ठ भारत की परिकल्पना को साकार कर पाएंगे.
उन्होंने कहा, ‘आज जो हम स्वतंत्र भारत में सांस ले रहे हैं, उसके पीछे मां भारती के लाखों बेटे-बेटियों का त्याग-बलिदान और समर्पण है. आज आजादी के वीरों, रणबांकुरों का नमन करने का पर्व है.
हमारी सेना-अर्धसैनिक बलों के जवान, पुलिस के जवान, सुरक्षाबलों से जुड़े हर कोई, मां भारती की रक्षा में जुटे रहते हैं. आज उनकी सेवा को भी नमन करने का पर्व है. अरविंद घोष की आज जयंती है. क्रांतिकारी से आध्यात्मिक ऋषि बने.
आज उन्हें भी याद करने का दिन है. कोरोना के चलते आज बच्चे नजर नहीं आ रहे. कोरोना के संकट में मैं कोरोना वॉरियर्स को नमन करता हूं.’