रांची,मांडर: मांडर विधायक बंधु तिर्की ने अनुसूचित जनजाति मंत्री से झारखंड सरकार कल्याण विभाग छात्रावास संचालन नियमावली के पत्रांक 327/2018 को छात्रहित में निरस्त करने की मांग की है.
तिर्की ने कहा कि इस पत्र में आदिवासी छात्रों के हितों की अनदेखी की गई है. विभाग द्वारा बनाई गई नियमावली में हुई विभागीय त्रुटि के कारण निर्धन छात्रों को अधिक खर्च वहन कर छात्रावास में रहना पड़ेगा. उन्हें पानी, बिजली, नगर टैक्स, रसोईया, सफाई कर्मी खर्च आदि का समानुपातिक रूप से वहन करना पड़ेगा.
नियमावली में आदिवासी छात्रावासों का संचालन कल्याण विभाग से हटाकर शिक्षा विभाग, कॉलेज एवं विश्वविद्यालयों को सौंपे जाने की व्यवस्था का वर्णन है, जो छात्रहित में नहीं है. इस नियम अनुसार छात्रों को अतिरिक्त भार वाहन करना पड़ेगा.
वर्तमान में आदिवासी छात्रावास में कई कॉलेजों के छात्र को रहने की छूट है, परंतु नए नियमावली के आधार पर केवल एक ही कॉलेज के छात्रों का समावेश होगा.