कर्नाटक में अयोग्य करार दिये गए 17 विधायकों पर सुप्रीम कोर्ट ने अपना निर्णय बुधवार को दे दिया है. कोर्ट ने विधायकों को स्पीकर द्वारा अयोग्य घोषित करने के फैसले को सही माना है लेकिन अयोग्य विधायकों के चुनाव लड़ने पर पाबंधी को उचित नहीं माना है. अब ये विधायक 5 दिसंबर को राज्य की 15 सीटों पर होने वाले उपचुनाव में हिस्सा ले सकेंगे.
सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि विधानसभा स्पीकर को ये अधिकार नहीं है कि वो ये तय कर सके कि विधायक कबतक चुनाव नहीं लड़ सकता है. कोर्ट ने विधानसभा स्पीकर पर सख्त टिप्पणी की और कहा कि स्पीकर एक अथॉरिटी जैसे काम करता है, ऐसे में उसके पास कुछ ही शक्तियां होती है.
बता दें कि जुलाई 2019 में कांग्रेस के 13 और जेडीएस के 4 विधायकों ने उस वक्त इस्तीफे दिए थे, जब येदियुरप्पा को अपनी सरकार के लिए फ्लोर टेस्ट पास करना था. इन विधायकों के इस्तीफों के बाद येदियुरप्पा सरकार बनाने में सफल हो गए थे. इस तरह कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन की सरकार गिर गई थी. बाद में विधानसभा स्पीकर ने इन विधायकों अयोग्य घोषित कर दिया था.
SC के फैसले की सभी ने की तारीफ
उच्चतम न्यायालय के फैसले का सभी दलों ने स्वागत किया है. कांग्रेस नेता और पूर्व मुख्यमंत्री सिद्धारमैया कोर्ट के निर्णय का स्वागत करते हुए कहा कि अयोग्य विधायकों को जो चुनाव लड़ने का मौका मिला है मैं उसका स्वागत करता हूं. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि यह उन विधायकों के लिए सबक है जो दूसरे दलों के साथ जाना चाहते हैं.
वहीं, कर्नाटक के मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने भी सुप्रीम कोर्ट के फैसले को सराहा है. उन्होंने कहा कि मैं अयोग्य विधायकों को चुनाव लड़ने की अनुमति देने वाले कोर्ट के फैसले का स्वागत करता हूं. इस बीच येदियुरप्पा से जब यह सवाल किया गया कि क्या ये सभी 17 विधायक बीजेपी में शामिल होंगे तो उन्होंने शाम तक इंतजार करने की बात कही.