चेन्नई: एक दलित जोड़े को अपनी उप-जाति से बाहर शादी करने के लिए उसके गांव की खाप पंचायत ने जुर्माना लगा दिया है. साथ ही उसे मंदिर में भी नहीं जाने रोक दिया गया है. ये घटना उत्तरी तमिलनाडु के तिरूपतुर जिले के वाणियम्बाडी में पुल्लूर गांव की है. कनगराज (26) मुरचा परयार उप-जाति का है और जयप्रिया (23) थामना परयार उप-जाति की है और ये दोनों ही उप-जातियां अनुसूचित जाति के तहत आती हैं. चूंकी जयप्रिया के मां-बाप ने इस शादी का विरोध किया था इसलिए इन दोनों ने भागकर चेन्नई में जनवरी 2018 में शादी कर ली थी.
कनगराज चेन्नई में ड्राइवर की नौकरी करता था. कोविड के कारण हुए लॉकडाउन में कनगराज की नौकरी चली गयी और वह अपनी पत्नी के पास पुल्लूर वापस आ गया. खाप पंचायत ने इन दोनों पर पहले ही 2.5 लाख रुपये का जुर्माना लगा रखा था और कहा था कि अगर वह गांव लौटता है तो उसे यह राशि चुकानी पड़ेगी.
कनगराज ने कहा, ‘हमारे गांव में अपनी जाति के बाहर शादी करने पर जुर्माना लगाए जाने की बात आम है. अमूमन ज़ुर्माने की यह राशि ₹5000-10,000 होती है पर इस बार मुझ पर एक लाख और मेरी पत्नी पर डेढ़ लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है. मैं ₹25,000 जुर्माना देने को तैयार था पर उन्होंने यह राशि लेने से मना कर दिया.
अब मैंने कोई भी जुर्माना भरने से साफ मना कर दिया है. पर खाप पंचायत का प्रमुख मुझ पर दबाव डाल रहा है. जब गांव में त्योहार के दौरान हमने मंदिर में प्रवेश की कोशिश की तो मुझे और मेरी पत्नी को गाँव के मंदिर में जाने से रोक दिया गया. मेरे गांव लौटने के बाद खाप पंचायत की दो बार बैठक हुई है और इसके प्रमुख दबाव डाल रहे हैं कि हमें जुर्माना देना ही होगा.’
कनगराज ने थिमापेट्टै पुलिस थाने में इसके खिलाफ शिकायत दर्ज करायी है. जिला पुलिस के अधिकारी नवंबर में जब लंबित मामलों की सुनवाई कर रह थे तो उन्होंने इस मामले की सुनवाई भी की. कनगराज ने कहा, ‘एल्लप्पन और नागेश जो कि खाप पंचायत के प्रमुख हैं, उन्होंने पुलिस जांच के दौरान हम दोनों पर लगाए गए जुर्माने को वापस लेने की बात कही. पर उसके बाद वे अभी भी हमें जुर्माना चुकाने के लिए दबाव डाल रहे हैं.’
खाप पंचायत के प्रमुख एल्लप्पन ने दोनों पर कोई जुर्माना लागाये जाने की बात से इंकार किया. उन्होंने कहा, ‘इन पर कभी कोई जुर्माना नहीं लगाया गया. इनके दोनों परिवारों के बीच झगड़ा हुआ क्योंकि इन दोनों ने अपने परिवार के लोगों की मर्जी के खिलाफ शादी की थी. गांव में हल्ला-गुल्ला करने के आरोप में इन दोनों पर ₹500 का जुर्माना लगाया गया था. मैं जानता हूं कि गांव के लोग ग़रीब हैं. पंचायत इन पर इतना भारी जुर्माना कैसे लगा सकता है.’