रांची: जेपीएससी परीक्षा में अब एक से अधिक शादी करने वाले अभ्यर्थी नहीं बैठ सकेंगे. जेपीएससी परीक्षा नियमावली में संशोधन के बाद ऐसे स्त्री या पुरुष अभ्यर्थी जिन्होंने दो या दो से अधिक शादियां की हैं, उन्हें परीक्षा में शामिल होने की अनुमति नहीं होगी. झारखंड कैबिनेट की बैठक में परीक्षा नियमावली 2021 में जरूरी संशोधन किए गए हैं.
झारखंड संयुक्त लोकसेवा परीक्षा नियमावली 2021 के प्रावधानों से संबंधित गजट का प्रकाशन शीघ्र ही कर लिया जाएगा. कई क्षेत्रों में नियमों को सख्त बनाया गया है, तो कई मामलों में अभ्यर्थियों को यथोचित लाभ सुनिश्चित करने का प्रबंध भी किया गया है.
जेपीएससी के माध्यम से 15 तरह की सेवाओं की परीक्षा के लिए हर वर्ष परीक्षा आयोजित करने का निर्णय लिया गया है और परीक्षा को उक्त वर्ष के नाम से जाना जाएगा.
राज्य परिस्थितियों के आधार पर इजाजत प्रदान कर दें, तो ऐसे लोगों को अनुमति दी जा सकती है–
सरकार ने तय किया है कि दो या अधिक शादियां करने वाले अभ्यर्थियों को परीक्षा में शामिल होने की अनुमति नहीं दी जाएगी. हालांकि राज्य परिस्थितियों के आधार पर इजाजत प्रदान कर दें तो ऐसे लोगों को अनुमति दी जा सकती है. सरकारी सेवा में तीन वर्ष गुजार चुके लोगों को उम्र सीमा में पांच वर्ष का लाभ देने का निर्णय भी लिया गया है.
कैबिनेट के निर्णय के अनुसार, परीक्षा हर वर्ष होगी और कैडर से संबंधित विभाग हर वर्ष एक जनवरी की तिथि से रिक्तियों की गणना करेंगे और इसकी सूचना कार्मिक विभाग को देंगे.
इस सूचना के आधार पर कार्मिक विभाग जेपीएससी से पत्राचार करेगा, जिसके आधार पर आयोग हर वर्ष रिक्तियों की घोषणा करते हुए परीक्षा लेगा.
निर्णय लिया गया है कि संयुक्त लोक सेवा परीक्षा का नाम विज्ञापन के प्रकाशन के वर्ष से जाना जाएगा. अगर किसी वर्ष परीक्षा नहीं हो पाती है तो अगले वर्ष अथवा बाद के वर्षों में रिक्तियों को जोड़कर आयोग परीक्षा लेगा.
21 से 35 वर्ष तक के अभ्यर्थी भाग ले सकेंगे–
झारखंड लोक सेवा आयोग की परीक्षा में सामान्यत: 21 से 35 वर्ष के अभ्यर्थी भाग ले सकेंगे. इसके अलावा विभिन्न आरक्षित वर्गों के लिए उम्र सीमा में अलग-अलग छूट भी दी गई है. जिन उम्मीदवारों ने सरकारी सेवा में तीन साल गुजारे हैं उन्हें अधिकतम उम्र सीमा में 5 वर्ष की छूट दी जाएगी. इससे सरकारी सेवा में कार्यरत कर्मियों को लाभ मिलेगा. अत्यंत पिछड़ा वर्ग एवं पिछड़ा वर्ग के लोगों को अगर किसी प्रकार की निश्शक्तता है तो उम्र में छूट की गणना दोनों वर्गों को जोड़कर होगी.