रांची: राज्य सरकार नई नियोजन नीति लेकर आएगी इस पर मंथन किया जा रहा है. इसे तैयार करने के लिए सक्षम अधिकारियों को जिम्मा दिया गया है. इस बार की नियोजन नीति 100 फ़ीसदी झारखंड के आदिवासी और मूल वासियों के लिए बनाई जाएगी. थर्ड और फोर्थ ग्रेड के पद पर स्थानीय निवासी ही नियुक्त होंगे.
नई नियोजन नीति को विधानसभा से पारित कराया जा सकता है. इससे पहले इसे कैबिनेट में लाया जाएगा. वर्तमान सरकार चाहती है कि थर्ड ग्रेड और फोर्थ ग्रेड के पद पूरी तरह से स्थानीओं के लिए आरक्षित रहे जो नीति तैयार की जा रही है.
जानकारी के अनुसार यह राज्य के 24 जिलों के लिए होगी थर्ड और फोर्थ ग्रेड का पद किस जिला में किस के लिए कितना फीस दी आरक्षित होगा. यह भी तय किया जा रहा है आबादी के हिसाब से नियोजन नीति तैयार की जा रही है. इससे दूसरे राज्य के लोगों को झारखंड में अब इन 2 पदों पर बहाल नहीं हो पाएंगे. झामुमो पहले से ही इंदौर श्रेणी के पदों के लिए स्थानीय को नौकरी देने की वकालत करता रहा है.
राज्य सरकार ने हाल ही में पूर्व की नियोजन नीति के संकल्प को वापस ले लिया है. इसके पीछे दलील दी गई है कि यह व्यवस्था झारखंड के 13 जिलों के लिए ही थी. जिन जिलों को इसमें रखा गया था वहां तो दूसरे राज्य के लोग नौकरी नहीं पाते लेकिन राज्य के अन्य 11 जिलों में दूसरे राज्य के लोग नियुक्त हो रहे थे.
देवघर, बोकारो और अन्य दूसरे जिलों में पुलिस सहित अन्य नौकरियों में भारी संख्या में दूसरे राज्यों के लोगों को नौकरी मिल गई. इसलिए इस बार सरकार 24 जिलों के लिए नई नियोजन नीति लेकर आएगी.