जिला महिला अधिवक्ता कल्याण समिति जमशेदपुर ने किया राजेश शुक्ल का अभिनंदन
रांची: आज जिला महिला अधिवक्ता कल्याण समिति जमशेदपुर ने झारखंड स्टेट बार कौंसिल के वाईस चेयरमैन और अखिल भारतीय अधिवक्ता कल्याण समिति के राष्ट्रीय महामंत्री राजेश कुमार शुक्ल, वरिष्ठ अधिवक्ता को पिछले महीने पटना में अधिवक्ताओं के राष्ट्रीय सम्मेलन में मिले अधिवक्ता रत्न सम्मान के लिए उनके आवास पर जाकर उनसे मिलकर अभिनन्दन किया.
जिसका नेतृत्व जिला महिला अधिवक्ता कल्याण समिति की अध्यक्ष ममता संघानी, महामंत्री विनीता सिंह, और विनीता मिश्रा ने किया. जिसमें प्रमुख रूप से महिला अधिवक्ताओ में रूबी मिहिराचार्य, ललिता कुमार, मौसमी चौधरी, तृप्ति साहू आदि महिला अधिवक्ताओं भाग लिया.
इस अवसर पर शॉल ओढ़ाकर और पुष्पगुच्छ देकर शुक्ल को सम्मानित किया गया. साथ ही अन्नपूर्णा वृक्ष भी लगाया गया. इस अवसर पर भारी संख्या में महिला अधिवक्ता उपस्थित थी.
जिला महिला अधिवक्ता कल्याण समिति ने शुक्ल से हर जिला और अनुमंडल बार एसोसिएशन में कॉमन रूम की व्यवस्था करने अन्य सुविधा सुलभ कराने और नए महिला अधिवक्ताओं को प्रतिमाह प्रोत्साहन राशि सुलभ कराने की मांग की.
शुक्ल ने आश्वस्त किया कि वे इन मांगों को उचित फोरम पर रखकर उसका कार्यान्वयन कराने की पूरी कोशिश करेंगे. शुक्ल ने अभिनन्दन करने के लिए जिला महिला अधिवक्ता कल्याण समिति जमशेदपुर का आभार जताया.
इस अवसर पर शुक्ल ने कहा कि महिला अधिवक्ताओ में आज इतनी प्रतिभा है कि वे कानूनी क्षेत्र में अपनी उत्कृष्ट छवि अपने प्रतिभा से दिखा सकती है. अलग पहचान बना सकती है. उन्हें पूरी मजबूती के साथ अपने इस दायित्व को निभाना चाहिए.
उन्होंने युवा अधिवक्ताओं से अपील किया कि वे अपने अंदर सीखने की आदत को बढ़ाये तभी वे न्याय जगत को एक सफल अधिवक्ता के रूप में अपनी भूमिका अदा कर सकते है और जरूरतमंदों को न्याय दिलाने में अपना सफल दायित्व निभा सकते है.
इस अवसर पर जिला महिला अधिवक्ता कल्याण समिति की अध्यक्ष ममता संघानी अधिवक्ता ने कहा कि झारखंड स्टेट बार कौंसिल के वाईस चेयरमैन और वरिष्ठ अधिवक्ता राजेश कुमार शुक्ल झारखंड के अधिवक्ताओं के गौरव है, उन्हें अधिवक्ता रत्न से सम्मानित होने से झारखंड के अधिवक्ताओं का गौरव बढ़ा है.
शुक्ल पर राज्य के अधिवक्ताओं को गर्व है तथा सदा रहेंगा. उन्होंने अधिवक्ताओं को हर सुख दुःख में मदद किया है तथा वे किसी से भी भेदभाव नहीं करते है. सभी अधिवक्ताओं को अपनापन, स्नेह , सहयोग और प्यार देते है.