ईवीपी के तहत एक बार यूजर एकाउंट बनने के बाद मतदाता को सबसे पहले पहचान पत्र के सत्यापन के लिए अपनी जानकारियों को अपडेट करना होगा. इस प्रक्रिया में नाम, पते और उम्र आदि में संशोधन की भी अनुमति होगी. जो भी जानकारियां वेबसाइट पर अपलोड की जाएंगी, उनसे संबंधित कागजात भी अपलोड करने जरूरी होंगे, ताकि जानकारियां का सत्यापन हो सके.
यूजर पूरे परिवार की जानकारी अपने ही एकाउंट में एक-एक करके एड कर सकेगा. इसके बाद उनकी जानकारियां भी अपडेट की जा सकेंगी. ईवीपी प्रोग्राम के तहत ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से ब्यौरे को अपडेट किया जा सकेगा.
ऑनलाइन प्रक्रिया में घर बैठे ही मतदाता पहचान के सत्यापन की सुविधा मिलेगी. ऑनलाइन आवेदन के लिए दो तरीके होंगे. पहले कंप्यूटर के जरिए एनबीएसपी डॉट आईएन वेबसाइट पर जाकर यूजर एकाउंट बनाकर जानकारी अपडेट की जा सकती है.
दूसरा तरीका वोटर हेल्पलाइन एप के जरिए मतदाता अपनी जानकारियों को अपडेट कर सकते हैं. ऑफलाइन ईवीपी में शामिल होने वाले मतदाताओं के लिए मतदाता केंद्रों और कॉमन सर्विस सेंटर (सीवीसी) पर यह सुविधा उपलब्ध होगी.
प्रत्येक जिले के मतदाता केंद्रों, पोलिंग स्टेशनों और विधानसभा क्षेत्र स्तर पर यह सुविधा उपलब्ध होगी. वर्तमान में मतदाताओं की सुविधा के लिए 550 सीएससी केंद्र भी ईवीपी में शामिल किए गए हैं.
16 से 18 वर्ष के युवाओं की जानकारी भी होगी अपडेट
मुख्य चुनाव अधिकारी रणबीर सिंह के मुताबिक, 18 वर्ष से अधिक आयु के मतदाताओं का ही पहचान पत्र बनाने का नियम है, लेकिन ईवीपी के तहत 16 से 18 साल के बीच के युवाओं के नाम, उम्र और निवास स्थान का ब्यौरा वेबसाइट पर अपडेट किया जा सकता है.
इससे चुनाव कार्यालय को जानकारी रहेगी कि आने वाले दो साल में कितने नए मतदाताओं के पहचान पत्र बनने हैं. उनकी उम्र 18 वर्ष होते ही चुनाव कार्यालय की ओर से मैसेज भेजकर मतदाता पहचान पत्र बनवाने के लिए सूचित किया जाएगा.
कॉमन सुविधा केंद्र पर लगेंगे तीन रुपये
कॉमन सुविधा केंद्रों पर ब्यौरा अपडेट कराने के लिए पहुंचने वाले मतदाताओं के कागजात स्कैन करके अपलोड करने के लिए एक रुपये प्रति कागजात और दो रुपये प्रति फोटो वसूले जाएंगे. साथ ही, अगर किसी को अपना नाम मतदाता सूची में शामिल कराना है तो उसके लिए फार्म नंबर 6 के लिए अतिरिक्त एक रुपया वसूला जाएगा. सीएससी पर किसी भी प्रकार की परेशानी के संबंध में मतदाता टोल फ्री नंबर 1950 पर कॉल सकते हैं.
दिल्ली की 1.44 करोड़ मतदाता
चुनाव कार्यालय के आंकड़ों के मुताबिक, दिल्ली में वर्तमान में एक करोड़ 43 लाख, 94 हजार और 262 मतदाता हैं. इनमें 79,12,319 पुरुष, 64,81,261 महिला और 682 ट्रांसजेंडर हैं. इनमें 18 वर्ष के वोटरों की संख्या 1,30,845 है.
इन आईडी प्रूफ से होगा सत्यापन
मतदाता ब्यौरे के सत्यापन के लिए पासपोर्ट, ड्राइविंग लाइसेंस, आधार कार्ड, राशन कार्ड, सरकारी कार्यालय का आई कार्ड, किसान कार्ड, पैन कार्ड, एनपीआर द्वारा जारी स्मार्ट कार्ड, लैंडलाइन टेलीफोन बिल, बिजली बिल, पानी बिल और गैस कनेक्शन बिल का प्रयोग किया जा सकता है.
15 अक्तूबर के बाद शुरू होगा समरी रिवीजन
एक सितंबर से 15 अक्तूबर तक मतदाताओं के लिए ईवीपी चलेगा. इस कार्यक्रम के पूरा होने के बाद 15 अक्तूबर से चुनाव कार्यालय द्वारा समरी रिवीजन (सारांश संशोधन) शुरू किया जाएगा. इस दौरान मतदाताओं द्वारा अपडेट की गई जानकारियों को जांचा जाएगा। यह प्रक्रिया एक जनवरी 2020 तक पूरी हो सकती है.