रांची झारखंड हाई कोर्ट ने बड़ा फैसला देते हुए राज्य सरकार द्वारा अयोग्य ठहराए गए सभी 42 दारोगा को फिर से बहाल करने का आदेश दे दिया है उच्च न्यायालय ने झारखंड सरकार को करारा झटका देते हुए याचिका खारिज कर दी है गुरुवार को अयोग्य बताए गए इन 42 दारोगा के भविष्य का फैसला करते हुए कोर्ट ने ,सिंगल बेंच के फैसले को सही ठहराया है
सिंगल बेंच के फैसले को डबल बेंच ने ठहराया सही
42 दारोगा की नियुक्ति मामले में सिंगल बेंच के फैसले को बरक़रार रखते हुए डबल बेंच ने भी उन्हें नौकरी में बहाल करने का अादेश दिया है।इसके साथ ही हाईकोर्ट के डबल बेंच में दायर सरकार की अपील याचिका ख़ारिज हो गई। एकलपीठ ने डेढ़ साल नौकरी करने के बाद नौकरी से बाहर किए गए 42 दारोगा को नौकरी में बहाल करने निर्देश दिया था झारखंड हाई कोर्ट में इस मामले में गुरुवार को सुनवाई होनी थी डेढ़ साल तक नौकरी करने के बाद सरकार ने इन्हें अयोग्य ठहराते हुए हटा दिया था। तब एकलपीठ अदालत ने भविष्य को देखते हुए नौकरियों में इन्हें रखने का आदेश दिया था। इस फैसले के खिलाफ झारखंड सरकार एलपीए दाखिल कर डबल बेंच में गई थी।
42 अभ्यर्थियों ने की थी याचिका दायर
उच्च न्यायालय में जस्टिस एच सी मिश्रा और जस्टिस दीपक रौशन की खंडपीठ इस मामले में अपना फैसला सुनाया। हटाए गए अभ्यर्थियों ने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की थी, जिस पर सुनवाई के बाद एकलपीठ ने सरकारको निर्देश दिया था कि भविष्य में होने वाली नियुक्ति में सभी को प्राथमिकता के आधार पर समायोजित किया जाए। जिसको बाद में सरकार ने एलपीए दाखिल कर खंडपीठ में चुनौती दी थी। और आज या कोटी दरोगा के पक्ष में फैसला आ गया है