नई दिल्ली: पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने कोरोना को लेकर केंद्र सरकार पर कुप्रबंधन और लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा है कि सरकार समय रहते जागरूक हो जाती तो आज यह आपदा इतनी भयानक नहीं होती. एक वक्तव्य में शरद यादव ने भारत सहित सारे विश्व में इस घातक बीमारी के कारण मारे गए लोगों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि यह बीमारी जब विश्व के दूसरे भागों में फैल रही थी भारत सरकार अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के स्वागत में पलक-पांवड़े बिछा रही थी.
उन्होंने कहा कि जनवरी से ही एयरपोर्ट पर लोगों की स्क्रीनिंग की जाती और उन्हें सही समय पर क्वॉरेंटाइन किया जाता तो शायद यह बीमारी भारत की जनसंख्या के भीतर नहीं फैलती. शरद यादव ने कहा कि मार्च माह में भी जो लोग एयरपोर्ट पर आए उनकी थर्मल स्कैनिंग करने के बाद एक फार्म भरवा कर उन्हें जाने दिया गया किसी ने भी यह जहमत नहीं उठाई कि उन्हें एक फोन लगाकर उनका हालचाल ले लेता.
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शरद यादव ने रामायण की चौपाई ‘ समरथ को नहिं दोष गुसाईं ‘ का उल्लेख करते हुए कहा कि कोरोना जैसी महामारी के वाहक समर्थ लोग थे लेकिन इसका खामियाजा गरीब लोगों को भुगतना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि अपने राजनीतिक कैरियर में उन्होंने ऐसा कभी नहीं देखा जब संकट की इस घड़ी में सत्तासीन सरकार ने विपक्ष से बातचीत तक नहीं की हो. शरद यादव ने प्रधानमंत्री से सावधानी पूर्वक सभी से सलाह लेकर निर्णय लेने की अपील की है.