पूर्व मुख्यमंत्री ने मिलकर सुनी सबकी समस्यााएं
रांची: अपनी मांगों को लेकर धरना दे रहे सहायक पुलिस कर्मियों से राज्य के पूर्व मुख्यपमंत्री रघुवर आज मोरहाबादी मैदान मिलने पहुंचे. वहां उन्होंने बारी-बारी से कई जवानों से मुलाकात की और उनकी समस्याीएं सुनीं. मौके पर पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने सहायक पुलिस की मांगों को जायज बताया है.
दास ने कहा कि इनकी मांगें राज्यहित में है. इनलोगों ने हर काम को ईमानदारी पूर्वक किया है. कोरोना काल में भी इनकी भूमिका सराहनीय रही है. उन्होंने कहा कि झारखंड उग्रवाद प्रभावित क्षेत्र है. रोजगार की तलाश में सैकड़ों युवा भटकते रहते हैं. नौकरी न मिलने की वजह से युवा गुमराह हो जाते हैं और गलत रास्ता अपना लेते हैं. इसको ध्यान में रखते हुए हमारी सरकार ने सहायक पुलिस की नियुक्ति की गयी थी.
ऐसा प्रावधान बनाया गया था कि तीन साल नौकरी कर लेने के बाद इन्हें पुलिस की बहाली में प्राथमिकता मिलेगी. इनको नौकरी देने के पीछे सरकार का एक ही उद्देश्य था कि उग्रवाद पर भी लगाम लगे. इस दिशा में हर सरकार को सोचना चाहिए. उग्रवाद खत्म करना सरकार की पहली प्राथमिकता होनी चाहिए.
सरकार ऐसी हो जो लोगों की बातों को सुनें उनकी समस्याओं को गंभीरता से ले. सबसे अहम बात है कि सहायक पुलिस ने तीन साल नौकरी कर हर क्षेत्र में प्रैक्टिकल और थ्योसरी दोनों कर लिया है. नौकरी इनका हक बनता है. जहां तक आंदोलन की बात है तो लोकतंत्र में आंदोलन करने का अधिकार है. हर माता-पिता की यही कामना होती है कि उनके बेटे-बेटियों को नौकरी मिले, जिससे उनका और उनके परिवार की जीविका चले.