दिल्ली: भारत में वैक्सीन के 50-100 फीसद असरदार रहने की उम्मीद है. ये कहना है भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) का. खबर के मुताबिक, ICMR कोविड वैक्सीन को 100 फीसद असरदार बनाने की कोशिश कर रहा है.
भारत में कोविड वैक्सीन का असर 50-100% के बीच
ICMR के डायरेक्टर जनरल डॉक्टर बलराम भार्गव ने कहा, “हमारा मकसद 100 फीसद असरदार बनाने का है लेकिन वैक्सीन का प्रभाव 50-100 फीसद के बीच रह सकता है. हालांकि कोरोना वायरस के खिलाफ वैक्सीन प्रभावी होगी.” उन्होंने स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की प्रेस ब्रीफिंग के दौरान मंगलवार को बताया.
भार्गव ने विश्व स्वास्थ्य संगठन के हवाले से कहा कि वैक्सीन को 50 फीसद से ऊपर असरदार होने की सूरत में इस्तेमाल की जा सकती है. उन्होंने कहा, “श्वसन वायरस के खिलाफ वैक्सीन में 100 फीसद का प्रभाव हासिल नहीं किया जा सकता.” इस बीच सोमवार को ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया ने कोविड-19 वैक्सीन के लिए गाइडलाइन्स जारी की. 39 पन्नों के दस्तावेज में कंपनियों को पालन करने के लिए कई सुरक्षात्मक प्रोटोकॉल की लिस्ट दी गई है.
ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया की गाइडलाइन्स
मंजूरी के लिए जानेवाली वैक्सीन को बेहतर प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया उत्पन्न करना चाहिए.
वैक्सीन का इस्तेमाल करने वाले शख्स को एक साल तक दोबारा संक्रमण से सुरक्षा मिलनी चाहिए.
वैक्सीन की नियामक मंजूरी उसी सूरत में होगी जब कंपनियां अलग-अलग चरणों में 30-50 फीसद प्रभाव को साबित कर दें.
वैक्सीन को या तो संक्रमण रोकना चाहिए या वैक्सीन दिए जाने पर कम से कम 50 फीसद बीमारी की गंभीरता को कम करना चाहिए.
पूर्व में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों को वैक्सीन के परीक्षण में शामिल करना चाहिए. जब तक कि उन्हें अन्य तीव्र संक्रामक बीमारी या तीव्र कोविड-19 न हो.