रांचीः भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि गठबंधन सरकार पूर्व की रघुवर दास के नेतृत्व वाली सरकार के कार्यकाल में चल रहे सभी अच्छी योजनाओं को बंद करने और विवादास्पद बनाने में तुली है.
प्रतुल ने कहा कि आज विभागीय मंत्री का बयान आया की वह डोभा योजना को भी बंद करेंगे. उन्होंने डोभा योजना में काफी सारी अनियमितताएं होने की बात कहकर जांच कराने की बात भी कही हैं. प्रतुल ने कहा की भाजपा को कभी भी किसी भी जांच से परहेज नहीं रहा है.
बशर्ते वह निष्पक्ष हो. लेकिन जांच की रिपोर्ट आने से पहले ही विभागीय मंत्री ने इसमें भारी अनियमितता की बात कहकर अपने पूर्वाग्रह को दिखा दिया है. वर्तमान सरकार ने पहले कृषि आशीर्वाद योजना, महिलाओं के लिए ₹1 में रजिस्ट्री की योजना और अब डोभा योजना को बंद करने की बात कह कर लोगों का ध्यान बंटाने की कोशिश की है.
केंद्र में 2014 में जब नरेंद्र मोदी की सरकार आई थी तो उसने भी यूपीए के द्वारा शुरू किए गए मनरेगा को बंद नही किया था बल्कि उसमें व्याप्त कमियों को दूर किया था. दरसल गठबंधन सरकार सत्ता में बड़े-बड़े वादे करके आयी है.
उन वादों को पूरा करने में वह सक्षम नज़र नही आ रही है. बार-बार सरकार खजाना खाली होने का बात कही है मानो पूरे राज्य का खजाना जेवर,जेवरात परी कथाओं की तरह किसी एक जगह रखा होता हो. अर्थशास्त्र का ज्ञान रखने वाले लोगों को यह पता है की बजट राजस्व वसूली और खर्च का एक रफ़ एस्टीमेट होता है.
राजस्व वसूली एक निरंतर चलने वाली प्रक्रिया है. लेकिन सरकार बार-बार यह कह रही है कि खजाना खाली है और इससे वह भ्रम की स्थिति पैदा करने की कोशिश कर रही है. प्रतुल ने कहा कि अब तो 15 दिनों में सरकार का बजट पेश होगा.
उन्हें अपनी प्राथमिकताएं तय करनी चाहिए. सिर्फ राजनीति करने के लिए अगर वह सफल योजनाओं को बंद करने का प्रयास करेंगे तो इसका भाजपा पुरजोर विरोध करेगी. प्रतुल ने कहा कि ऐसे भी जितने नकारात्मक सोच के बुनियाद पर यह सरकार खड़ी है उससे इस सरकार से कोई सकारात्मक उम्मीद नहीं बची है.