हजारीबाग: इचाक प्रखंड के दाढ़ी घाघर पंचायत के 3 गांव के ग्रामीणों ने रविवार को वोट बहिष्कार किया है. मिली जानकारी के अनुसार दाढ़ी घागर मुखिया का कहना है कि इस गांव में 70 वर्ष से आज तक रोड नहीं बनाया गया और ना ग्रामीणों की कोई व्यवस्था दी गई. सरकार की बातें सुनने के बाद कुछ विश्वास की दीपक जली थी.
ग्रामीणों ने कहा कि केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार बनने पर गांव का विकास होगा सोचे थे, लेकिन इचाक प्रखंड में विकास नहीं हुआ ग्रामीणों की आने-जाने की समस्या, पेयजल की समस्या, बिजली की समस्या आज तक ठीक नहीं की गई. इसलिए यह वोट हम तभी देंगे जब गांव में सड़क बनाया जाएगा.
ग्रामीणों ने कहा कि नेता आते हैं विश्वास दिला कर चले जाते हैं. झूठी अश्वासन में हम ग्रामीण 5 वर्षों तक आस लगाकर बैठे रहते हैं. इसकी शिकायत जिला को भी की गई है, लेकिन आज तक कोई पूछने तक नहीं आया.
मुखिया ने बताया कि इस गांव को झारखंड सरकार उग्रवाद प्रभावित क्षेत्र घोषित किया है और दूसरी ओर उग्रवाद प्रभावित क्षेत्र को सुंदरीकरण एवं सांसद को गोद में लेने का घोषणा किया था, लेकिन सुंदरीकरण तो दूर इस गांव में आने जाने की कोई सड़क नहीं बनाई गई. यहां की गरीब जनता लाचार और बेबस घर में ही बैठे हैं. इन्हें रोजगार भी नसीब नहीं है. रोजगार के लिए यहां से 5- 7 किलोमीटर जाना पड़ता है.
ग्रामीणों ने बताया कि बिहार और झारखंड अलग हुए 19- 20 साल पूरा हो गया है, लेकिन दाढ़ी घागर में आज तक विकास नहीं हुआ. इसलिए हम सभी ग्रामीणों ने फैसला लिया है कि इस वर्ष यहां कोई वोट नहीं करेंगे.