नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी गुरुवार (23 जुलाई) को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मणिपुर जलापूर्ति परियोजना की आधारशिला रखी.
इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि आज का ये कार्यक्रम इस बात का उदाहरण है कि कोरोना के इस संकट काल में भी देश रुका नहीं है, देश थमा नहीं है. जब तक वैक्सीन नहीं आती, जहां कोरोना के खिलाफ हमें मजबूती से लड़ते रहना है वहीं विकास के कार्यों को भी पूरी ताकत से आगे बढ़ाना है.
पीएम ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि इस बार तो पूर्वी और उत्तर पूर्वी भारत को एक तरह से दोहरी चुनौतियों से निपटना पड़ रहा है. नार्थ-ईस्ट में फिर इस साल भारी बारिश से बहुत नुकसान हो रहा है. अनेक लोगों की मृत्यु हुई है, अनेक लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा है.
मणिपुर में कोरोना संक्रमण की गति और दायरे को नियंत्रित करने के लिए राज्य सरकार दिन रात जुटी हुई है. लॉकडाउन के दौरान मणिपुर के लोगों के लिए जरूरी इंतजाम हों, या फिर उनको वापस लाने के लिए विशेष प्रबंध, राज्य सरकार ने हर जरूरी कदम उठाए हैं.
उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत मणिपुर के करीब 25 लाख गरीब भाई-बहनों को मुफ्त अनाज मिला है. इसी तरह डेढ़ लाख से अधिक बहनों को उज्जवला योजना के तहत मुफ्त गैस सिलेंडर की सुविधा दी गई है.
आज इंफाल सहित मणिपुर के लाखों साथियों के लिए, विशेषतौर पर हमारी बहनों के लिए बहुत बड़ा दिन है. लगभग 3 हजार करोड़ रुपए की लागत से पूरे होने वाले मणिपुर वॉटर सप्लाई प्रोजेक्ट से यहां के लोगों को पानी की दिक्कतें कम होनी वाली हैं.
पीएम ने कहा कि बड़ी बात ये भी है कि ये प्रोजेक्ट आज की ही नहीं बल्कि अगले 20-22 साल तक की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए डिजाइन किया गया है. इस प्रोजेक्ट से लाखों लोगों को घर में पीने का साफ पानी तो उपलब्ध होगा ही, हजारों लोगों को रोजगार भी मिलेगा.