ज्योत्सना
खूंटी: कल तक जिन इलाकों में बाहरी लोगों के प्रवेश पर ग्रामीणों ने पत्थलगड़ी के नाम पर प्रतिबंध लगा रखा था, आज उन्हीं इलाकों के ग्रामीण सरकारी योजनाओं का लाभ लेने लिए आगे आ रहे हैं. सरकारी और गैर सरकारी संगठनों की मदद से पत्थलगड़ी इलाकों में प्रधानमंत्री आवास योजना, स्वच्छ भारत अभियान, प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना, मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना, सुकन्या योजना, मातृ वन्दना योजना, जल संचयन जागरूकता अभियान, उज्ज्वला योजना, उजाला योजना का लाभ लेने के लिए बड़ी संख्या में महिलाएं और युवा आगे आ रहे हैं.
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गैर सरकारी संगठन सिनी के सहयोग से ग्रामीणों को सरकारी योजनाओं की जानकारी मुण्डारी भाषा में दी जा रही है. मुण्डारी भाषा में योजनाओं की जानकारी देने से ग्रामीणों में अपनेपन की भावना साफ झलकती है. साथ ही बाहरी लोगों को शक संदेह की नजरों से देखने के नजरिया में भी परिवर्तन देखने को मिल रहा है.
समय के साथ साथ जिला प्रशासन से दूरी बरतने वाले मुण्डा आदिवासी अब गांव में विकास की बयार बहाना चाहते हैं. बिजली, पानी, शौचालय,बच्चों की शिक्षा, आवास जैसी मूलभूत सुविधाओं का लाभ लेने के लिए ग्रामीणों ने अब आवेदन लिखना शुरू कर दिया है. कौशल विकास योजना संबंधी प्रशिक्षण को लेकर भी महिलाएं जागरूक दिखी. साथ ही प्रधानमंत्री आवास योजना रहित डाड़ीगुटू पंचायत के जोरदाग गांव में महिलाएं अब आवास योजना का पूरा लाभ लेने को उत्सुक नजर आईं. बातचीत में उन्होंने सरल सहज अंदाज में कहा कि आज तक हमारे गांव में एक भी आवास नहीं बना है. हमलोग गांव में पक्का मकान बनाना चाहते हैं. बिजली की व्यवस्था भी गांव में बेहतर होनी चाहिए जिससे बच्चों की पढ़ाई अच्छे से हो सके.