नई दिल्ली. मध्य प्रदेश के वरिष्ठ बीजेपी नेता कैलाश सारंग का शनिवार को मुंबई के एक अस्पताल में निधन हो गया. पूर्व सांसद कैलाश सारंग बीते काफी समय से बीमार चल रहे थे, उन्हें संबंधित बीमारियां थी, साथ ही उनके शरीर के कई अंग भी ठीक से काम नहीं कर रहे थे. ऐसे में दो नवंबर को उन्हें एयर एंबुलेंस के जरिए भोपाल से मुंबई भेजा गया था, जहां शनिवार को उन्होंने अंतिम सांस ली. अब मुंबई से उनका पार्थिव शरीर मध्य प्रदेश लाया गया.
सारंग का पार्थिव शरीर रविवार सुबह जब भोपाल एयरपोर्ट पहुंचा, तो सीएम शिवराज सिंह चौहान भी वहां पर मौजूद थे. उन्होंने पार्थिव शरीर को कंधा देते हुए उसे वाहन में रखा. अब बीजेपी कार्यालय में उनके शुभचितंक उन्हें श्रद्धांजलि दे रहे. यहां श्रद्धांजलि देने के बाद दोपहर 3.30 बजे सुभाष नगर विश्राम घाट के लिए उनकी अंतिम यात्रा निकलेगी, जहां सायं चार बजे उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा.
ऐसा रहा राजनीतिक करियर
कैलाश सारंग मध्य प्रदेश में बीजेपी के सबसे पुराने और प्रभावी नेताओं में शामिल रहे हैं. 60 और 70 से दशक में वो पहले जनसंघ के साथ जुड़ गए और फिर बीजेपी के साथ रहे. जनसंघ में उन्होंने अटल बिहारी वाजपेयी और लालकृष्ण आडवाणी के साथ राजनीति की. कैलाश सारंग ने नरेंद्र मोदी के उभार के बाद उन पर ‘नरेंद्र से नरेंद्र’ शीर्षक से किताब भी लिखी. कैलाश सारंग के बेटे विश्वास सारंग भी बीजेपी के नेता हैं और मध्य प्रदेश की शिवराज सिंह की सरकार में कैबिनेट मंत्री भी हैं. विश्वास सारंग राज्य की नरेला विधानसभा से तीन बार विधायक चुने जा चुके हैं.